बरहेट. थाना क्षेत्र अंतर्गत हड़वाडीह गांव निवासी रमजान अंसारी (25) हत्याकांड की गुत्थी पुलिस ने 72 घंटों के अंदर सुलझा ली है. शुक्रवार को बरहेट थाना परिसर में बरहरवा एसडीपीओ नितिन कुमार खंडेलवाल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित कर दी. उन्होंने बताया कि थाना क्षेत्र के हड़वाडीह निवासी रमजान अंसारी हत्याकांड का उद्भेदन करते हुये पुलिस ने भागाबांध गांव के दो सगे भाईयों को गिरफ्तार किया है. गिरफ्तार दोनों युवकों ने अपना अपराध कबूल कर लिया है. विदित हो कि बीते मंगलवार की सुबह थाना क्षेत्र के भागाबांध के सहराजघुटू खलिहान से पुलिस ने एक शव बरामद किया गया था. मामले में पुलिस ने कांड संख्या 135/24 के तहत प्राथमिकी दर्ज की थी तथा मामले में अनुसंधान के लिए बरहरवा एसडीपीओ नितिन खंडलाल के नेतृत्व में एक टीम गठित की गयी थी. जिसमें एसआइ पवन सिंह, एसआइ असीम कुजूर सहित अन्य शामिल थे. प्राथमिकी दर्ज करने के बाद पुलिस ने मामले का उद्भेदन करते हुये भागाबांध गांव निवासी मंगल टुडू (22) तथा खडे टुडू (24) को गुरुवार की रात उसके घर से गिरफ्तार कर लिया एवं उसकी निशानदेही पर हत्या में प्रयुक्त चाकू व दो पत्थर के अलावे मृतक का मोबाईल भी बरामद कर लिया. पुलिस ने गिरफ्तार दोनों युवकों को अदालत में पेश करने के बाद न्यायिक हिरासत में साहिबगंज जेल भेज दिया. हत्यारोपी ने कहा- बैल चोरी करने पहुंचा था रमजान, मारपीट में हुई मौत एसडीपीओ ने बताया कि हत्यारोपी मंगल टुडू तथा खडे टुडू ने पुलिस के समक्ष अपना गुनाह कबूलते हुये कहा कि बीते सोमवार की मध्य रात्रि बैल की आवाज सुनकर उसकी नींद खुली. जब वह गोशाला पहुंचा, तो देखा कि दो बैलों में से एक गायब है. इसकी जानकारी उसने तुरंत अपने सो रहे भाई को दी. तथा दोनों भाई बैल ढूंढने निकले. काफी देर खोजबीन के बाद जब बैल नहीं मिला, तो वापस घर पहुंचे. जहां देखा कि एक युवक दूसरे बैल को भी ले जाने का प्रयास कर रहा है. हमलोगों ने तुरंत जाकर उस युवक को पकड़ लिया. युवक तुरंत हाथापाई कर भागने लगा. इसी दौरान उसकी मौत हो गयी. जिसे हमलोगों ने खलिहान के पास ले जाकर फेंक दिया. पुलिस कैसे पहुंची आरोपी तक पुलिस ने हत्यारे का पता लगाने के लिये दुमका से डॉग स्क्वायड टीम की मदद ली. लेकिन, सफलता नहीं मिली. इस बीच पुलिस को मृतक की मां ने बेटे का मोबाइल गायब होने के बारे में बताया. इसके बाद पुलिस की तकनीकी सेल ने मोबाइल का लास्ट लोकेशन पता किया, जो घटनास्थल के पास ही दिखा. फिर पुलिस ने अपने मुखबिरों से कुछ जानकारियां जुटायीं. और, संदेह के आधार पर दोनों भाईयों को हिरासत में लेकर पूछताछ की. जिसमें दोनों ने अपराध स्वीकार कर लिया.
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