डेढ़ करोड़ की लागत से नवगछिया में बना बस स्टैंड बेकार पड़ा है. नगर परिषद प्रशासन ने प्राइवेट बस और छोटे वाहनों को एक जगह लगाने के लिए निर्माण करवाया था. एजेंसी बुडको ने 2017 में बस स्टैंड का कार्य पूरा कर नप प्रशासन को हैंडओवर किया था. नप प्रशासन ने बस पड़ाव की बंदोबस्ती करायी. बावजूद एनएच-31 के सर्विस रोड में बस और अन्य छोटे वाहनों के चालक यात्रियों को चढ़ाते उतारते हैं. इससे एक ओर एनएच पर जाम की समस्या उत्पन्न होती है, वहीं दूसरी ओर दुर्घटनाएं भी हो रही हैं. इस संबंध में निवर्तमान कार्यपालक पदाधिकारी बस स्टैंड में गाड़ी लगाने के लिए नवगछिया थानाध्यक्ष को पत्र लिखा था. पत्र के माध्यम से बताया था कि अधिकतर निजी व बिहार राज्य पथ परिवहन निगम की बसें स्टैंड से कुछ दूर आगे पूरब की तरफ एनएच-31 किनारे सवारी चढ़ाने व उतारने के लिए रुकती है. इस कारण एनएच पर जाम की स्थिति उत्पन्न हो जाती है. अवैध रूप से पार्किग करने वाले बसों के खिलाफ कार्रवाई सुनिश्चित की जाए, ताकि निर्धारित बस स्टैंड से बसों का परिचालन हो सके. एनएच पर बस लगाने वालों से जुर्माना वसूला जाता था. बावजूद स्थिति में सुधार नहीं हुआ. बस स्टैंड अभी भी वीरान पड़ा है. बोले नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी नवगछिया नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी मुकेश कुमार ने बताया कि बस स्टैंड में बस लगाने का काम हम लोग करेंगे. पहले इस संबंध में दो बार प्रयास किया जा चुका है. किंतु इस बार हम लोग सख्ती करेंगे. पहले माइकिंग कर प्रचार प्रसार किया जायेगा, उसके पश्चात रोका टोकी है. चालक नहीं माने से सख्ती दिखाते हुए इधर-उधर बस लगाने वाले से जुर्माना वसूला जायेगा.
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