Chandramouli Biswas: ‘फॉसिल्स’, ‘गोलोक’ और ‘जोम्बी केज कंट्रोल’ जैसे बैंड के लिए पॉपुलर बेसिस्ट चंद्रमौली बिस्वास ने 48 साल की उम्र में दुनिया को हमेशा के लिए अलविदा कह दिया है. वह 12 जनवरी की शाम सेंट्रल कोलकाता में वेलिंगटन के पास इंडियन मिरर स्ट्रीट स्तिथ किराए के कमरे में फंदे से लटके हुए पाए गए. उनके पास से एक सुसाइड नोट भी बरामद हुआ है, जिसमें उन्होंने बताया है कि उनकी मौत के पीछे किसी का भी हाथ नहीं है. अब उनके असामयिक निधन से उनके फैंस और परिजनों में शोक की लहर है.
टीम के साथ ने दी सुसाइड की सुचना
चंद्रमौली बिस्वास के मौजूदा बैंड के साथी मोहुल चक्रवर्ती मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, रविवार को जब उनसे मिलने उनके किराए के कमरे पर पहुंचे, तब चंद्रमौली उन्हें फंदे से लटके हुए मिले. इसके बाद तुरंत ही मोहुल चक्रवर्ती ने स्थानीय लोगों को इसकी सुचना दी और साथ ही पुलिस को भी बुलाया. सुचना मिलते ही पुलिस की टीम घटनास्थल पर पहुंची और बिना समय गवाए घटना की जांच शुरू कर दी. चंद्रमौली के संगीत बैंड ‘गोलोक’ के लीड सिंगर मोहुल चक्रवर्ती ने कहा, “बिस्वास सुबह से मेरा फोन नहीं उठा रहे थे और मुझे उनकी चिंता होने लगी. मैंने उनके एक करीबी दोस्त को फोन किया और हम दोनों उनके घर पहुंचे और पाया कि वे मृत हैं. यह पूरे बंगाल संगीत उद्योग के लिए एक बड़ी क्षति है.”
डिप्रेशन से जूझ रहे थे चंद्रमौली बिस्वास
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पुलिस ने बताया कि उनकी शुरुआती जांच से मालूम पड़ता है कि चंद्रमौली बिस्वास कई सालों से आर्थिक समस्यों की वजह से डिप्रेशन से जूझ रहे थे. अधिकारी ने इस बारे में बात करते हुए कहा, “हमने उनके रिश्तेदारों और दोस्तों से बात की है, जिन्होंने बताया कि वह कुछ वर्षों से अवसाद में थे और उनका इलाज भी चल रहा था.”
सुसाइड नोट में क्या लिखा है?
चंद्रमौली बिस्वास के शव के पास टाइम्स ऑफ इंडिया के मुताबिक, एक सुसाइड नोट भी मिला है, जिसमें बिस्वास ने लिखा है कि उनकी मौत के पीछे कोई दोषी नहीं है. मालूम हो कि बिस्वास साल 2000 से 2018 तक बैंड फॉसिल्स के प्रमुख सदस्य हुआ करते थे, पहले गिटारिस्ट के रूप में शामिल हुए और फिर बेसिस्ट बन गए. इसके बाद वह साल 2018 में बैंड से स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं की वजह से अलग हो गए थे.