Delhi Election 2025: दिल्ली विधानसभा चुनाव में ग्रेटर कैलाश विधानसभा सीट एक ऐसी सीट हैं जहां बीजेपी लगातार जीत का प्रयास कर रही. यह सीट नई दिल्ली लोकसभा क्षेत्र में स्थित है और 2008 में अस्तित्व में आई थी. उस समय भारतीय जनता पार्टी (भा.ज.पा.) ने कद्दावर नेता विजय कुमार मल्होत्रा को मैदान में उतारा था, जिन्हें मुख्यमंत्री के रूप में जनता के सामने पेश किया गया। विजय कुमार मल्होत्रा ने कांग्रेस के जितेंद्र कुमार कोचर को 11,000 से अधिक मतों के अंतर से हराकर इस सीट पर कब्जा किया. हालांकि, चुनाव में भाजपा को बहुमत नहीं मिल सका और शीला दीक्षित सरकार बनाने में सफल रही। विजय कुमार मल्होत्रा को मुख्यमंत्री बनने का सपना छोड़कर नेता प्रतिपक्ष के रूप में विधानसभा में बैठना पड़ा.
अन्ना आंदोलन के बाद बदला सियासी समीकरण
2012 में अन्ना हजारे के आंदोलन के बाद कांग्रेस के खिलाफ माहौल बन गया, और शीला दीक्षित सरकार पर भ्रष्टाचार के आरोप लगे. इस राजनीतिक वातावरण में, अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व में आम आदमी पार्टी (आप) ने 2013 के विधानसभा चुनाव में अपनी उपस्थिति दर्ज कराई। भाजपा के लिए ग्रेटर कैलाश सीट को बनाए रखना एक बड़ी चुनौती थी. पार्टी ने विजय कुमार मल्होत्रा के बेटे अजय कुमार मल्होत्रा को प्रत्याशी बनाया और बड़े नेताओं को प्रचार के लिए भेजा, लेकिन आम आदमी पार्टी का प्रभाव बढ़ता गया. सौरभ भारद्वाज को आम आदमी पार्टी ने प्रत्याशी के रूप में उतारा और कांग्रेस ने वीरेंद्र कसाना को मैदान में उतारा. आम आदमी पार्टी लगातार तीन चुनावों से यहां जीतते आ रही है.
BJP के लिए प्रतिष्ठा का सवाल बनी सीट
इस बार भाजपा ने ग्रेटर कैलाश सीट को प्रतिष्ठा से जोड़ लिया है और हार के इस क्रम को तोड़ने के लिए पार्टी ने यहां अपनी पूरी ताकत झोंक दी है। यह सीट भाजपा के लिए बड़ी चुनौती बन चुकी है और पार्टी हर संभव प्रयास कर रही है ताकि वह इस सीट पर जीत हासिल कर सके. इस सीट से बीजेपी ने अपना उम्मीदवार नहीं दिया है. वहीं सौरभ भारद्वाज चौथी बार इस सीट से मैदान में हैं.
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