मो. दुलारे, प्रतिनिधि, परिहार (सीतामढ़ी): नरगां दक्षिणी पंचायत के मलहा टोल निवासी हरिशंकर पासवान के सात वर्षीय नि:शक्त पुत्र प्रशांत कुमार के लिए स्कूल की ही शिक्षिका मसीहा के रूप में मदद कर रही हैं.
हालांकि, शिक्षिका प्रियंका कुमारी के अथक प्रयास से एक बैसाखी मिल सकी है. शिक्षा विभाग के संज्ञान में आने के बाद बेतिया से एक डॉक्टर की टीम ने मलहा टोल मध्य विद्यालय पहुंचकर एक पैर गवां चुके प्रशांत की स्थिति जाना व बेहतर इलाज के साथ ही कृत्रिम पैर लगाने के आश्वासन पर प्रशांत को शुक्रवार को बेतिया ले गयी.
शिक्षिका प्रियंका कुमारी व प्रशांत के पिता हरिशंकर पासवान ने बताया कि बेहतर इलाज नहीं होने से पैर में परेशानी होने लगी. बाद में डॉक्टर की सलाह पर पैर काट दिया गया. कुछ दिनों बाद अपने दुख को भुलाकर पढ़ने की ललक में वह एक पैर पर रेंगते हुए स्कूल पहुंचने लगा. हालांकि, घर की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं होने के कारण आज तक उसका पैर नहीं लगाया जा सका.
फिल्म अभिनेता सोनू सूद के संज्ञान में प्रशांत का मामला आने के बाद उन्होंने फोन कर बच्चे का हाल जाना व पटना स्थित अपनी टीम से संपर्क कर बेहतर शिक्षा व आर्थिक मदद का भरोसा दिया. प्रशांत के परिजनों का कहना है कि अभी बेतिया में सरकारी स्तर पर इलाज के लिए भेजा गया है. लौटने के बाद बेहतर शिक्षा व आर्थिक मदद के लिए संपर्क किया जायेगा.
मीडिया में खबरें आने के बाद अब जिले के चिन्हित दो दिव्यांग छात्रों को कृत्रिम पैर उपलब्ध कराया गया है. डुमरा के मध्य विद्यालय, हरिछपड़ा में कक्षा 5 के छात्र आदित्य कुमार व परिहार के मध्य विद्यालय मलहा टोल में कक्षा 2 के छात्र प्रशांत कुमार शनिवार को बेतिया से कृत्रिम पैर लगवा कर सीतामढ़ी पहुंचे.
दोनों छात्र अभिभावकों के साथ डीएम मनेश कुमार मीणा से मुलाकात की. इस दौरान डीएम ने बच्चों को प्रोत्साहित किया. डीइओ अवधेश प्रसाद सिंह ने दोनों बच्चों को पोशाक प्रदान किया. समावेशी शिक्षा प्रभाग प्रभारी श्रीनारायण सिंह ने बताया कि जिले में विशेष आवश्यकता वाले कुल 14 बच्चे चिन्हित किये गये हैं. इसमें दो बच्चों को कृत्रिम अंग उपलब्ध करवा दिया गया. शेष बच्चों को भी उनकी अंग समेत अन्य संसाधनों को उपलब्ध कराने की दिशा में काम शुरू कर दिया गया है.