भागलपुर: विधायक गोपाल मंडल के पुत्र एवं इनके चार लोग पुलिस सूचना तंत्र से आगे है. यही वजह है की सोमवार को जमीन विवाद में चली गोली एवं मारपीट मामले में मुकदमा दर्ज होने के बाद भी एक भी आरोपित को पुलिस गिरफ्तार नहीं कर पायी है. इतना ही नहीं पांच-छह अज्ञात व्यक्ति भी इस मामले में शामिल है. इसकी भी पहचान अब तक नहीं हो पायी है.
हैरानी इस बात की भी है की विधायक पुत्र आशीष मंडल का चेहरा इलाके में रहने वाले लगभग सभी लोग पहचानते है. इसके बाद भी पुलिस के गुप्तचर को कुछ पता नहीं चल पा रहा है. हालांकि पिछले छह दिन से सभी आरोपितों की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी करने की बात पुलिस कर रही है.
बरारी पुलिस ने मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी कोर्ट में अर्जी देकर चार आरोपितों की गिरफ्तारी के लिए वारंट मांगा था. इसमें सबौर ममलखा के दिलीप यादव, हाउंसिग बोर्ड कॉलोनी निवासी धनंजय यादव, आशीष मंडल व संजीव मंडल का नाम है. आशीष मंडल विधायक गोपाल मंडल के पुत्र है. इन सभी को गिरफ्तार करने का वारंट पुलिस को मिल गयी है, लेकिन पुलिस व आरोपितों की बीच लुकाछिपी का खेल जारी है. शुक्रवार रात पुलिस ने सभी आरोपितों की गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की.
पुलिस ने धनंजय यादव व दिलीप यादव के बरारी स्थित ठिकाने पर देर रात पहुंची. सीआइएटी जवानों के साथ पहुंची पुलिस किसी की गिरफ्तारी नहीं कर सकी. दूसरी और विधायक गोपाल मंडल के पुत्र आशीष मंडल भी इस मामले में आरोपित हैं. इनकी तलाश में पुलिस अभी जल्दबाजी नहीं कर रही है. वजह मामला माननीय के पुत्र का है. इस वजह से पुलिस एक्शन कम दिख रहा है. वहीं पुलिस की माने तो विधायक आवास में ही उनका पुत्र आशीष है. लेकिन आवास में जाने की हिम्मत पुलिस नहीं कर पा रही है.
गोली लगने से घायल शरद यादव का सफल ऑपरेशन शनिवार को सिलीगुड़ी में हुआ. चिकित्सकों ने गोली सिर से निकाल कर जबड़ा का ऑपरेशन कर दिया है. लाल बहादुर सिंह ने बताया कि शरद यादव का ऑपरेशन सफल रहा है. अब यह खतरे से बाहर है. पत्नी माधुरी के हाथ का ऑपरेशन मायागंज अस्पताल में हो गया है. स्थिति भी सामान्य है.
बरारी थाना क्षेत्र में मुसहरी के पास 19 कट्ठा के प्लॉट पर अवैध कब्जा को लेकर सोमवार सुबह मारपीट और फायरिंग हुई थी. इसमें जमीन मालिक लाल बहादुर सिंह, उनकी पत्नी माधुरी बहादुर , बेटा वीर बहादुर का हाथ टूटा था. जबकि वीर बहादुर का दोस्त तक्षशिला स्कूल के मैनेजिंग डायरेक्टर खगड़िया निवासी शरद उर्फ रवि के सिर में दो गोली लगी थी. इसके बाद लाल बहादुर के बयान पर दस लोगों पर पुलिस ने मामला दर्ज किया था. इसमें गोपालपुर के विधायक गोपाल मंडल, इनके दो पुत्र दो समर्थक समेत पांच अज्ञात लोग शामिल थे.