रांची: हर साल सात नवंबर को राष्ट्रीय कैंसर जागरूकता दिवस मनाया जाता है. इस जानलेवा बीमारी से बचाव और जागरूकता को लेकर कोडरमा जैसे छोटे जिले में जो पहल हुई है, वह मिसाल बन गयी है. यहां कैंसर पीड़ित 10 लोगों ने मिल कर ‘आवर हैप्पी फैमिली : कैंसर सर्ववाइवर्स एंड पेंसेट्स’ नामक ट्रस्ट बनाया है, जो कैंसर से लोगों की रक्षा करने और इससे पीड़ित लोगों की सहायता में जुटा हुआ है.
‘आवर हैप्पी फैमिली’ 15 नवंबर तक कोडरमा में कैंसर जागरूकता के लिए बड़ा अभियान शुरू करने की तैयारी कर रहा है. इसके पहले चरण में ‘कैलाश सत्यार्थी चिल्ड्रेन फाउंडेशन’ और ‘टीएमएच मुंबई’ के सहयोग जिले की तीन पंचायतों में सर्वे किया जायेगा. इसमें गांव के लोगों से नशा सहित अन्य बिंदुओं पर जानकारी जुटायी जायेगी. साथ ही कैंसर से बचाव के लिए जागरूक किया जायेगा.
ट्रस्ट के अध्यक्ष अरुण मिश्रा बताते हैं कि हाल में टाटा मेमोरियल सेंटर मुंबई के मेडिकल ऑन्कोलॉजी के एचओडी डॉ (प्रो) कुमार प्रभाष की मौजूदगी में ये अहम निर्णय लिये गये हैं. अब तक हमने 80 कैंसर पीड़ितों को इलाज में मदद पहुंचायी है. कुछ का नि:शुल्क इलाज कराया गया है. क्लब वर्ष 2020 में गठित किया गया.
इसका विधिवत निबंधन पांच जनवरी 2022 को हुआ है. इसमें छह ट्रस्टी सहित 10 सदस्य हैं. 11 हजार रुपये की सहयोग राशि देकर कोई भी एसोसिएट मेंबर बन सकता है. डॉ प्रभाष खुद इसके पहले मेंबर बने हैं. साथ ही कैंसर मरीजों के सेवार्थ खास अवसर जैसे- जन्मदिन, वैवाहिक सालगिरह व पुण्य स्मृति दिवस पर पांच हजार रुपये प्रति यूनिट दान करने की शुरुआत की गयी है.
अरुण मिश्रा अध्यक्ष, अधिवक्ता ज्ञान रंजन सचिव, संजय कुमार शर्मा उपाध्यक्ष, राजीव दीवान कोषाध्यक्ष, अधिवक्ता भैया अनूप कुमार, संयुक्त सचिव और राजेश कुमार सह कोषाध्यक्ष हैं. इसके अलावा सदस्यों में अंजना जैन, ललिता देवी, रंजीत चौधरी व विवेक सहल.
अरुण बताते हैं कि कोडरमा व आसपास के जिलों के कैंसर पीड़ितों के लिए होली फैमिली अस्पताल परिसर में ‘पैलिएटिव केयर यूनिट’ व ‘कीमोथेरेपी सेंटर’ स्थापित किया जा रहा है. समाजसेवी सुरेश झांझरी की मदद से लाखों रुपये की लागत से भवन निर्माण का काम पूरा होने को है. टीएमएच मुंबई के सहयोग से नर्स व अन्य स्टाफ का प्रशिक्षण हो चुका है.
अरुण मिश्रा खुद एडवांस स्टेज के कैंसर से जूझ रहे हैं. इसके बावजूद उन्होंने कैंसर पर पुस्तक लिख डाली. ‘थैंक यू कैंसर’ नाम से उनकी पुस्तक अमेजन पर उपलब्ध है. पुस्तक बिक्री से मिलनेवाली रॉयल्टी कैंसर पीड़ितों के सेवार्थ ट्रस्ट के खाते में जमा हो रही है. वे अपने पिता सहित परिवार के चार सदस्यों को कैंसर की वजह से खो चुके हैं.