Bihar Crime: चार दिन पहले गजराजगंज ओपी थाना क्षेत्र के बामपाली से अपहृत किये गये 12 वर्षीय बच्चे दया कुमार का शव क्षत-विक्षत अवस्था में सोमवार की सुबह महतवनिया व जगजीवन हॉल्ट के बीच रेलवे ट्रैक के किनारे से बरामद किया गया. ग्रामीणों की सूचना पर एएसपी हिमांशु कुमार के नेतृत्व में पुलिस वहां पहुंची और शव को बरामद कर पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल भेजा. मृत दया कुमार उर्फ दयानिधि गजराजगंज ओपी थाना क्षेत्र के हलीटोला निवासी अशोक कुमार सिंह का बेटा था. दया के कपड़े से उसकी पहचान की गयी. दया बड़हरा स्थित एक होस्टल में रहकर पढाई करता था. दशहरा में वह अपने घर छुट्टी मनाने के लिए आया था.13 अक्तूबर से वह बामपाली से गायब हो गया था. बाद में पुलिस ने डॉग स्क्वायर्ड की मदद भी ली. बता दें कि रविवार की शाम महतवनिया गांव के समीप उसका एक कटा पैर मिला था, जिसके बाद आशंका जतायी जा रही थी कि अपहृत किये गये दया के ही शरीर का हिस्सा है.
एसपी संजय कुमार ने घटना के खुलासे के लिए गजराजगंज ओपी अध्यक्ष चंदन कुमार के नेतृत्व में एक टीम बनायी थी. टीम ने गुप्त सूचना एवं सर्विलांस के जरिये मामले में छानबीन करते हुए कांड में शामिल चार अभियुक्तों को धर दबोचा. एसपी ने बताया कि इस मामले में गजराजगंज ओपी थाना क्षेत्र के बामपाली निवासी शंकर यादव के पुत्र अविनाश कुमार, मुद्रिका यादव के पुत्र अभिषेक कुमार, रामाशंकर यादव के पुत्र चंदन कुमार एवं शंकर दयाल सिंह के पुत्र शशि भूषण कुमार को गिरफ्तार किया गया है.
मृतक के परिजनों ने बताया कि घटना के दिन दया के साथ अविनाश, अभिषेक, चंदन एवं शशिभूषण ने मारपीट की थी. इसके बाद उसकी हत्या कर दी गयी. परिजनों ने इस कांड में बड़ों को भी शामिल होने की बात कह रहे हैं. सूत्रों के अनुसार पुलिस भी ऐसी आशंका है की. बता दें कि दया की बहन उत्क्रमित मध्य विद्यालय बामपाली में सातवीं कक्षा की छात्रा है. वह 13 अक्तूबर को अर्धवार्षिक परीक्षा में भाग लेने अपने स्कूल गयी थी. बहन के साथ उसका छोटा भाई दयानिधि भी गया. परीक्षा चल रही थी. इसी बीच दया ने अपनी बहन की ओर कागज का एक टुकड़ा फेंका, जो बहन के बगल में परीक्षा दे रही छात्रा को लगा. उसने इसकी शिकायत अपने भाई तथा गांव के लड़कों से की. बच्चों ने दया की जबरदस्त पिटाई कर दी. इसके बाद से वह गायब हो गया. सोमवार को रेलवे ट्रैक के किनारे शव मिलने की खबर मिलते ही परिजन भाग कर घटनास्थल पर पहुंचे. घर की महिलाएं फफक कर रोने लगी. सूचना के बावजूद देर से पुलिस के घटनास्थल पर पहुंचने से परिजन एवं गांव वाले आक्रोशित दिखा. पुलिस के पहुंचते ही परिजन एवं ग्रामीण दोषियों पर अविलंब कार्रवाई की मांग करने लगे.