पटना. सुप्रीम कोर्ट द्वारा सोमवार को दिए गए निर्देश के बाद हाईकोर्ट ने राज्य में होने जा रहे नगर निकायों के चुनाव में आरक्षण दिए जाने के मामले पर मंगलवार को सुनवाई शुरू की और इस मामले पर देर शाम आंशिक सुनवाई की . कोर्ट ने इस मामले पर विस्तृत सुनवाई करने के लिए गुरुवार की तिथि निर्धारित की है.
सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले पर सुनवाई करते हुए इसे हाईकोर्ट के पास वापस करते हुए याचिकाकर्ता को कहा कि वह अपनी बातों को हाई कोर्ट में ही रखे .हाई कोर्ट ही उचित आदेश पारित करेगा. इसके साथ ही हाई कोर्ट को भी सुप्रीम कोर्ट ने निर्देश दिया कि वह हर हाल में 23 सितंबर तक इस मामले में अपना आदेश पारित कर दे.
इसी आदेश के आलोक में मुख्य न्यायाधीश की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने इस मामले पर सुनवाई शुरू की .हाईकोर्ट ने निकाय चुनाव में आरक्षण लागू करने के लिए दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार तथा राज्य चुनाव आयोग से 29 सितंबर तक स्थिति स्पष्ट करते हुए जबाब तलब किया था. पिछली सुनवाई में याचिकाकर्ता की ओर से वरीय अधिवक्ता मृगांग मौली ने कोर्ट को बताया था कि राज्य में नगर निकाय के होने जा रहे चुनाव में सुप्रीम कोर्ट के फैसले को नजरअंदाज किया जा रहा है.
उन्होंने बताया था कि बैकवर्ड जाति को नगर निकाय चुनाव में आरक्षण देने के लिये कमेटी बना निर्णय लेने के बाद ही चुनाव कराने का आदेश सुप्रीम कोर्ट ने दिया है . लेकिन राज्य सरकार ने पिछड़ी जाति को आरक्षण दिये बिना ही चुनाव कराने का निर्णय लिया है. वही राज्य सरकार का पक्ष रखते हुए महाधिवक्ता ललित किशोर ने कोर्ट को बताया था कि पंचायत चुनाव के समय ही पिछड़ी जातियों को आरक्षण का लाभ देने के लिए पिछड़ी जातियों का डाटा कलेक्शन किया गया था .