धनबाद: धनबाद के जज उत्तम आनंद की मौत के मामले में जांच को आगे बढ़ाने में सीबीआइ यूएसए इंटरपोल की मदद लेगी. व्हाट्सऐप चैट की जांच होनी है और इसके लिए सीबीआइ ने केंद्रीय गृह मंत्रालय के पास आवेदन दिया है. फिलहाल आवेदन लंबित है. अनुमति के बाद इंटरपोल इंडिया के माध्यम से यूएसए इंटरपोल से मदद ली जायेगी. यह जानकारी सीबीआइ की ओर से झारखंड हाइकोर्ट में दी गयी. चीफ जस्टिस डॉ रवि रंजन व जस्टिस सुजीत नारायण प्रसाद की खंडपीठ शुक्रवार को धनबाद के जज उत्तम आनंद मौत मामले में स्वत: संज्ञान से दर्ज पीआइएल पर सुनवाई कर रही थी.
खंडपीठ ने सीबीआइ की ओर से पेश स्टेटस रिपोर्ट का अवलोकन भी किया. सुनवाई के दौरान सीबीआइ का पक्ष सुना. इसके बाद पुन: अगली तिथि को प्रगति रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया. अगली सुनवाई के लिए खंडपीठ ने 14 अक्तूबर की तिथि निर्धारित की. इससे पूर्व सीबीआइ की ओर से अधिवक्ता प्रशांत पल्लव ने पक्ष रखते हुए खंडपीठ को बताया कि मामले में अनुसंधान जारी है.
सीबीआइ मामले में बड़ी साजिश की जांच कर रही है. व्हाट्सऐप चैट की जांच में यूएसए इंटरपोल की मदद लेकर जांच आगे बढ़ायी जायेगी. खंडपीठ ने पिछली सुनवाई के दौरान सीबीआइ से पूछा था कि मामले में ट्रायल पूरा हो जाने के बाद किस प्रोविजन के तहत आगे जांच जारी रखी जा सकती है. ज्ञात हो कि धनबाद के जज उत्तम आनंद की मौत टेंपो की टक्कर से हो गयी थी.
झारखंड हाइकोर्ट ने मामले को गंभीरता से लेते हुए संज्ञान लिया था. पूर्व में मामले की एसआइटी से जांच करायी गयी. बाद में हाइकोर्ट के आदेश पर मामले की जांच सीबीआइ के हवाले की गयी. धनबाद सीबीआइ की विशेष अदालत ने ट्रायल में दोषी पाये गये आरोपी लखन वर्मा व राहुल वर्मा को उम्र कैद की सजा सुनायी है. साथ ही 25-25 हजार रुपये का आर्थिक जुर्माना भी लगाया है.