Bihar Municipal Election के दौरान मुजफ्फरपुर में पर्दानशीं महिला मतदाताओं की पहचान के लिए मतदान केंद्रों पर महिला शिक्षिकाओं की प्रतिनियुक्ति की जायेगी. नगर निकाय चुनाव के पहले चरण को लेकर नामांकन की प्रक्रिया शुरू हो गयी है. ऐसे में मतदान की प्रक्रिया को लेकर लोगों के बीच कई मिथक और भ्रम की स्थिति बन जाती है. लेकिन राज्य निर्वाचन आयोग की ओर से सोशल मीडिया के जरिये मिथक और भ्रम की स्थिति को दूर किया जा रहा है. इसका नाम ही दिया गया है जानिये मिथक की सच्चाई ताकि लोगों को मतदान के प्रति जागरूक किया जा सके.
इसी कड़ी में यह मिथक चल रहा था कि पर्दानशीं मतदाता की पहचान के लिए अलग से कोई व्यवस्था नहीं है. जिस बारे में स्थिति स्पष्ट की गयी है कि ऐसे मतदाताओं की पहचान के लिए शिक्षकों की प्रतिनियुक्ति को लेकर जिला निर्वाचन पदाधिकारी को निर्देश दिया गया है. इसके साथ ही निर्वाचन आयोग की ओर से केंद्र पर अधिक से अधिक मतदाता पहुंचे, इसके लिए कार्टून के जरिये लेगों को समझाया जा रहा है. निर्वाचन आयोग ने इसे चुनावी चर्चा का नाम दिया है. इसके साथ ही ट्विटर पर लोगों के सवालों का भी आयोग की ओर से जवाब दिया जा रहा है.
केंद्रों पर मानकों के निर्धारण के मिथक का सच ऐसी मिथक है कि इस बार नगर निकाय चुनाव में मतदान केंद्रों की स्थापना के समय मानकों का निर्धारण नहीं किया जायेगा. इसके जवाब में निर्वाचन आयोग ने सच्चाई बताया है कि नियमावली के तहत केंद्रों की स्थापना के लिए मानकों का निर्धारण किया गया है. प्रत्येक वार्ड के लिए एक या अधिक मतदान केंद्रों की स्थापना होगी. इसकी सूची जल्द जारी की जायेगी.
आयोग के द्वारा बनाया गया कार्टून ये इस प्रकार से है.
पति – जानती हो, आज बैठकी में बहुते लोग कह रहा था, हम तो वोट डाले नहीं जायेंगे
पत्नी – काहे जी ?
पति- हां पूछे न तो बोला कि ई काम से बढ़िया घर में आराम से बैठ के पूआ पकवान खायेंगे
पत्नी – तो आप कहे नहीं कि जब नाला जाम हो जाता है, रास्ते पर कूड़ा भरा रहता है तो लोग सरकार को कोसते हैं. वोट देंगे तभी अपना नगर सुंदर होगा.