विनाशकारी बाढ़ के कारण आधा पाकिस्तान इस समय पानी में डूब चुका है. अबतक 1136 लोगों की मौत हो चुकी है. बाढ़ की विभीषिका का अनुमान इस बात से लगाया जा सकता है कि 3.3 करोड़ लोगों को यानी देश की कुल आबादी के करीब सातवें हिस्सा को विस्थापित होना पड़ा है. पाकिस्तान के सामने आर्थिक संकट भी उत्पन्न हो गयी है. वैसे में पड़ोसी देश मदद के लिए भारत की ओर देख रहा है.
भारत से सब्जियां और अन्य खाद्य पदार्थों का आयात करेगा पाकिस्तान
पाकिस्तान भीषण बाढ़ के कारण खड़ी फसलों के पूरी तरह नष्ट होने के बीच भारत से सब्जियां और अन्य खाद्य पदार्थों का आयात कर सकता है. पाकिस्तान के वित्त मंत्री मिफ्ता इस्माइल ने कहा कि सरकार भारत से सब्जियां और अन्य खाद्य पदार्थ आयात करने पर विचार कर सकती है. पड़ोसी देश में बाढ़ के कारण विभिन्न सब्जियों और फलों की कीमतों में भारी उछाल आ गया है. आपदा की वजह से बलूचिस्तान, सिंध और दक्षिण पंजाब से सब्जियों की आपूर्ति बुरी तरह प्रभावित हुई है.
तीन साल बाद भारत के साथ व्यापार संबंध शुरू कर सकता है पाकिस्तान
जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले अनुच्छेद 370 को रद्द करने के भारत के फैसले के बाद पाकिस्तान ने अगस्त, 2019 में भारत के साथ अपने व्यापार संबंधों को कम कर दिया था. एक सूत्र का हवाला देते हुए डॉन अखबार ने बताया कि पूर्व सुरक्षा सलाहकार एम यूसुफ भारत के साथ व्यापार के संबंध में कुछ प्रस्तावों पर काम कर रहे थे. वाणिज्य मंत्रालय की ओर से यह प्रतिक्रिया दरअसल सोशल मीडिया पर पाकिस्तान सरकार के भारत के साथ व्यापार फिर से शुरू करने के प्रस्ताव पर विचार करने की अटकलों के बीच आयी है.
पाकिस्तान में दशक का सबसे भयानक बाढ़
पाकिस्तानी जलवायु परिवर्तन मंत्री शेरी रहमान ने इसे दशक का सबसे भयावह मानसून कहा, वहीं वित्त मंत्री मिफ्ता इस्माइल ने कहा कि बाढ़ के कारण पाकिस्तान की अर्थव्यवस्था को 10 अरब डॉलर तक का नुकसान हुआ है. बाढ़ के कारण कम से कम 1136 लोग मारे गए हैं जबकि 1,634 लोग घायल हुए हैं. करीब 9,92,871 घर पूरी तरह या आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त हो गए हैं जिससे लाखों लोग भोजन व स्वच्छ पेयजल आदि से वंचित हो गए हैं. इसके साथ ही करीब 7.19 लाख पशु भी मारे गए हैं और लाखों एकड़ उपजाऊ भूमि लगातार बारिश से जलमग्न हैं.