सुपौल: निर्मली थाना क्षेत्र के हरियाही गांव के पास रविवार की देर शाम संदेह के आधार पर जांच के दौरान पकड़े गये ट्रक से 675 कार्टन में 20 हजार 400 बोतल शराब की बड़ी खेप मिली है. इस मामले में थानाध्यक्ष पंकज कुमार के नेतृत्व में पुलिस ने शराब तस्करी में संलिप्त दो ट्रक चालक को गिरफ्तार किया है.
गिरफ्तार दोनों चालक की पहचान नयी दिल्ली के छावला थाना क्षेत्र के रोशन बिहार फेज-2 निवासी 38 वर्षीय अजय दता व नयी दिल्ली के नजफगढ़ थाना क्षेत्र स्थित खैरा नजफगढ़ निवासी 40 वर्षीय अनिल कुमार के रूप में हुई है. ट्रक से मिले दस्तावेज के मुताबिक तस्करों द्वारा असम से दिल्ली तक के लिए ट्रांसपोर्ट परमिट बनवाया गया था. लेकिन शराब की बड़ी खेप को दरभंगा ज़िले में डिलिवरी देने की योजना थी.
अरुणाचल प्रदेश निर्मित सभी शराब मेक डोवल्स नंबर-1 ब्रांड की है. इसमें क्रमशः 750 एमएल की 150 कार्टन में 1800 बोतल (1350लीटर), 375 एमएल की 275 कार्टन में 6600 बोतल (2425 लीटर), 180 एमएल की 250 कार्टन में 12000 बोतल (2160 लीटर) शराब शामिल है. ज़ब्त 5985 लीटर शराब की कुल कीमत एमआरपी के मुताबिक़ 20 लाख 76 हज़ार है, जिसे शराब तस्करी के नाम पर लगभग पांच गुणे अधिक कीमत पर खपाने की योजना थी. तस्करी के लिहाज़ से ज़ब्त शराब की अनुमानित कीमत 01 करोड़ से अधिक बतायी जा रही है. दरअसल 180 एमएल वाली शराब की बोतल पर निर्धारित एमआरपी 60 रुपये अंकित है जो तस्करों के द्वारा 300 से अधिक में बिक्री होने की चर्चा है.
ग़ौरतलब है कि असम से आ रहे ट्रक के एयर फिल्टर में तहखाना बनाया गया था, जिसे ट्रक के साइज में हाइटेक रूप दिया गया था और उसमें शराब ऐसे छिपाकर लायी जा रही थी कि पुलिस अधिकारियों को कन्फर्म होने में करीब 02 घंटे लग गयक. ट्रक से शराब उतरवाने में रात भर लग गया और देर रात तक गिनती की प्रक्रिया पूरी हो सकी. शराब तस्करों का जुगाड़ ऐसा था कि पुलिस अधिकारियों के घंटों पसीने छूट गए.
मालूम हो कि ट्रक पर एयर फिल्टर नामक तहखाना बनाया गया था. जिसके अंदर शराब से भरी 675 कार्टन छिपाकर रखी गई थी और तहखाना ट्रक के साइज़ में मोटे परत वाले चदरे से निर्मित था. तहख़ाने के पिछले हिस्से पर एयर फिल्टर और डेंजर शब्द लिखे हुए थे. ताकि रास्ते में किसी जगह पुलिस चेकिंग में शराब की खेप होने की किसी को भनक तक नहीं लग सके. तहखाने को काटने के लिए पहले पुलिस अधिकारियों ने लोहे के रॉड का उपयोग करवाया. उसके बाद इलेक्ट्रिक कटर मंगवाया गया. लगभग 02 घंटे बाद भी जब तहख़ाने को काटने में सफलता नहीं मिली तो गैस कटर मंगवाने पड़े. फिर काफी मशक्कत के बाद तहखाने को काटा गया.
थानाध्यक्ष पंकज कुमार ने बताया कि इस मामले में निर्मली थाना में काड संख्या 173/2022 दर्ज किया गया है. शराब तस्करी में संलिप्त गिरफ्तार चालकों से पूछताछ और ट्रक से मिले विभिन्न दस्तावेज के आधार पर पुलिस मामले में कार्रवाई कर रही है.