पटना: इस साल अक्तूबर में होने वाले नगर पालिका चुनाव के तहत वार्ड काउंसिलर के पदों के लिए आरक्षण का फॉर्मूला तैयार कर लिया गया. राज्य निर्वाचन आयोग ने शुक्रवार को इस संबंध में सभी डीएम और प्रमंडलीय आयुक्तों को नयी गाइडलाइन की कापी उपलब्ध करा दी है. इसके तहत मौजूदा नियमों के आधार पर ही वार्ड काउंसलेर के पदों के लिए आरक्षण तय किये जायेंगे.
पहले चरण में सिर्फ वार्ड काउंसेलर के पदों के लिए आरक्षण के निर्देश दिये गये हैं. नगर निगमों में महापौर व उप महापौर तथा नगर पंचायत और नगर परिषद के प्रमुख व उप प्रमुख पदों के लिए अलग से निर्देश जारी किये जाएंगे. आयोग ने जिलों को कहा है कि इस साल राज्य की 248 नगरपालिकाओं में आम चुनाव संपन्न कराया जाना है. इनमें से 172 नवगठित, उत्क्रमित या क्षेत्र विस्तारित नगर निकाय भी शामिल हैं, जहां चुनाव होंगे. पूर्व में गठित नगर निकायों में कुल 62 पार्षदों के आरक्षण में कोई बदलाव नहीं किया गया है. आयोग ने आयुक्तों व जिलाधिकारियों को लिखे पत्र में कहा है कि सर्वोच्च न्यायालय द्वारा पारित आदेश के क्रम में नगर विकास एवं आवास विभाग द्वारा राज्य सरकार के निर्णय को उपलब्ध कराया है. सभी प्रकार के आरक्षण का प्रावधान 50 प्रतिशत के अंदर होगा.
आयोग ने सभी जिलों को निर्देश दिया है कि सभी नगरपालिकाओं के मतदान के लिए बूथों के गठन का कार्य भी पूर्ण कर लिया जाये. आयोग की ओर से पहले चरण में 144 नगरपालिकाओं का, दूसरे चरण में 80 नगरपालिकाओं का, तीसरे चरण में छह नगरपालिकाओं का, चौथे चरण में नौ नगरपालिकाओं का और पांचवें चरण में पांच नगरपालिकाओं के वार्डों का परिसीमन, मतदाता सूची की तैयारी और बूथों के गठन की तैयारी कराने का निर्देश जारी किया है.
आयोग के मुताबिक हर नगरपालिका में सदस्यों के कुल स्थानों का 50 प्रतिशत के निकट किंतु इससे अधिक स्थान के लिए आरक्षण किया जाना है. इसमें एससी-एसटी और पिछड़े वर्ग के लिए आरक्षण का प्रावधान किया गया है. एससी-एसटी के लिए आरक्षित स्थानों का अनुपात उस नगरपालिकाओं में प्रत्यक्ष निर्वाचनों द्वारा भरे जाने वाले स्थानों की कुल संख्या से यथा संभव निकटतम उसी अनुपात में होगा जो उस नगरपालिका क्षेत्र में एससी व एसटी जातियों की जनसंख्या होगी. एससी व एसटी जातियों के लिए स्थानों के आरक्षण के बाद शेष स्थानों में पिछड़े वर्गों (एनेक्सचर-1) के लिए आरक्षित किये जानेवाले स्थानों की संख्या कुल स्थानों के 20 प्रतिशत के निकटतम होगी पर उससे अधिक नहीं होगी.
अगर किसी कोटि में मात्र एक ही पद उपलब्ध है, तो यह महिला के लिए आरक्षित नहीं किया जायेगा. संबंधित जिलों के जिलाधिकारी द्वारा आरक्षित निर्वाचन क्षेत्रों की सूची जारी की जायेगी. राज्य निर्वाचन आयोग की ओर से राज्य की नगरपालिकाओं के वार्डों के गठन का कार्य पांच चरणों में कराया है. साथ ही इन नगरपालिकाओं की मतदाता सूची का निर्माण भी नये सिरे से कराया गया है.
राज्य में 10 यथास्थिति वाले नगर निकाय हैं, जहां फिलहाल चुनाव नहीं कराया जाना है. इनमें नगर निगम मुंगेर, नगर निगम कटिहार, नगर निगम पूर्णिया, नगर निगम बेगूसराय के अलावा नगर परिषद हिलसा, नगर परिषद अरवल, नगर परिषद बेनीपुर के साथ नगर पंचायत मोहनिया, नगर परिषद एकमा बाजार और नगर परिषद परसा बाजार शामिल हैं.