अनुपम कुमार, पटना. पटना एयरपोर्ट पर अब बाहर से मंगाये या यहां से भेजे जाने वाले सामान की पहले से ज्यादा हिफाजत होगी. एयरपोर्ट में अब ज्वेलरी या कीमती सामान रखने के लिए व्यवस्था हो रही है. यह सब यहां बन रहे नये कार्गों भवन के कारण संभव हो पायेगा. इसका निर्माण अपने अंतिम चरण में है. लगभग 90 फीसदी निर्माण कार्य पूरा हो चुका है. अक्तूबर के अंत तक यह पूरी तरह तैयार हो जायेगा. यह वर्तमान कार्गो भवन से चार गुना बड़ा होगा.
दिसंबर के अंत तक इसका इस्तेमाल शुरू कर दिया जायेगा. इसके बाद पटना एयरपोर्टसे हवाई ढुलाई आसान हो जायेगी और सामान के स्टोरेज में सुविधा होगी. इससे हवाई ढुलाई की मात्रा में भी तेजी से वृद्धि होगी. वर्तमान कार्गो ब्लॉक का एरिया लगभग 3.5 हजार वर्गफुट है, जबकि नया कार्गो भवन 15 हजार वर्गफुट में बन रहा है. यह दोमंजिला भवन है, जिसमें ग्राउंड फ्लोर पर बड़ा स्टोरेज हॉल है. यह दो हिस्से एराइवल व डिपार्चर में बंटा है, जिनमें आने वाले और जाने वाले सामान रखे जायेंगे.
स्टोरेज एरिया में ही स्ट्रांग रूम बनाया गया है, जहां गहना व कीमती सामान को रखा जायेगा. साथ ही स्टोरेज एरिया में ही एक कोल्ड स्टोर भी बनेगा, जहां फल, सब्जियों और गर्मी से खराब होने वाले सामान को रखा जायेगा. हालांकि, कोल्ड स्टोरेज और स्ट्रांग रूम एक ही होगा, जिसमें आने और जाने वाले दोनों सामान काे रखा जायेगा.
कई लोग बाहर से नयी किस्मों के पौधे भी मंगाते हैं. इनके लिए नये कार्गों भवन में व्यवस्था की गयी है. पौधों को रखने के लिए प्लांट कोरेंटिन सेंटर होगा. यह सेंटर इसलिए बनाया गया है कि बाहर से मंगाये गये पौधों के साथ आने वाले कीड़े, बैक्टिरिया, वाइरस आदि का फैलाव नहीं हो सके.
बुक होने वाले सामान की सिक्युरिटी स्क्रीनिंग के लिए बैगेज एक्स-रे की भी सुविधा होेगी. साथ ही आने-जाने वाले सामान के वजन करने के लिए भी बड़ी वेटिंग मशीन लगेगी. ऊपरी फ्लोर पर कर्मियों व अधिकारियों के बैठने के लिए ऑफिस बन रहा है. कस्टम के अधिकारियों के लिए भी कमरे होंगे, ताकि भविष्य में पड़ोसी देशों से विमान सेवा शुरू होने पर कस्टम क्लीयरेंस में दिक्कत नहीं हो.