आजादी के अमृत महोत्सव पर बिहार के स्कूलों में सांस्कृतिक कार्यक्रम नहीं होंगे. इसका आदेश राज्य सरकार के द्वारा जारी कर दिया गया है. सरकार द्वारा ये फैसला कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को देखते हुए लिया गया है. इसके लिए राज्य के सभी जिला अधिकारियों को 12 अगस्त को पत्र जारी कर दिया गया है. हालांकि इससे पहले राज्य में स्कूलों को सुरक्षा के साथ सांस्कृतिक कार्यक्रम करने की इजाजत दे दी गयी थी. हालांकि इस बीच में 10 अगस्त को सरकार बदल गयी. ऐसे में सरकार ने अपना पहले दिया आदेश बदल दिया.
बिहार के स्कूलों में सांस्कृतिक कार्यक्रम को रद्द करने को लेकर बीजेपी ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर तीखा हमला किया है. बीजेपी ने कहा कि नीतीश कुमार ने पहले तो स्कूलों में कार्यक्रम का आदेश दे दिया था. अब फिर से अपने दिए आदेश को रद्द कर दिया है. नीतीश कुमार क्या बिहार में शराब से मर रहे लोगों या पीएफआई के मामले में शोक मनाने के लिए कार्यक्रम को रद्द किया है. बीजेपी ने बड़ा हमला करते हुए सरकार की नियत पर ही सवाल उठा दिया है.
देशभर में केंद्र सरकार के द्वारा आजादी के अमृत महोत्सव का आयोजन किया जा रहा है. इसके तहत देशभर में सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया जा रहा है. इसके साथ ही एक अभियान हर घर तिरंगा चलाया जा रहा है. ऐसे में बिहार के स्कूलों में सांस्कृतिक कार्यक्रमों को रोकने को बीजेपी सीधे रूप में राजनीतिक रंग से जोड़ रही है. हालांकि बिहार में वर्तमान में कोरोना का संक्रमण दर 5 प्रतिशत के आसापास है. ऐसे में सरकार अपने फैसले को बच्चों की सुरक्षा से जोड़कर दिखा रही है. हालांकि सरकार के आदेश से बीजेपी को बड़ा हमला करने का मौका मिल गया है.