Kanpur News: कानपुर में ड्यूटी के दौरान एक दरोगा न सिर्फ नशे में धुत होकर थाने पहुंचा, बल्कि सोशल मीडिया पर प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री के खिलाफ भी अशोभनीय टिप्पणी की थी. मामले में कार्रवाई करते हुए दरोगा को जबरन रिटायर कर दिया गया है. दरोगा कानपुर कोतवाली में तैनात था. इसके साथ ही वेतन और अन्य भत्तों के सेटलमेंट के लिए तीन माह का समय दिया गया है. दरोगा के खिलाफअनुशासनहीनता के तहत यह कार्रवाई की गई है.
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आदेश जारी किया था कि 50 साल से अधिक की उम्र वाले अनुशासनहीन पुलिसकर्मियों की सूची बनाकर अनिवार्य रूप से रिटायर कर दिया जाए. सूची तैयार होने के साथ ही उस पर कार्रवाई भी की जाए. इसी के तहत कानपुर कोतवाली में तैनात दरोगा नागेंद्र यादव के ऊपर भी सीएम के आदेश की गाज गिरी है. रिटायर किए गए नागेंद्र के ट्रैक रिकॉर्ड में भी खामियां मिली हैं.
बता दें, जबरन रिटायर दरोगा नागेंद्र दस साल में तीन बार उसे परनिंदा लेख से दंडित किया गया. इसके अलावा सोशल मीडिया पर पीएम और सीएम के खिलाफ टिप्पणी करने के मामले में भी दोषी पाया गया. यही नहीं अफसरों के सीयूजी नंबर पर फोन मिलाकर उनके साथ अभद्र भाषा में बात करता था. इसके अलावा मेडिकल जांच में पता चला है कि, दरोगा शराब के नशे में ड्यूटी पर भी आता था.
इन सब मामलों की रिपोर्ट एडिश्नल सीपी हेडक्वार्टर आनंद कुलकर्णी को सौंपी गई थी. एडिश्नल सीपी हेडक्वाटर्स ने नागेंद्र को अनिवार्य रूप से रिटायर करने के निर्देश दिए हैं. उनके मुताबिक, दरोगा तत्काल प्रभाव से रिटायर माना जाएगा और उसके पास वेतन और फंड्स के सेटलमेंट के लिए तीन माह का समय होगा.
रिपोर्ट- आय़ुष तिवारी