मुंगेर-जमालपुर मुख्य मार्ग पर श्रीराम पेट्रोल पंप के समीप बिना नंबर की ट्रैक्टर ने मंगलवार की शाम एफसीआइ के डीपो मैनेजर रामाशीष प्रसाद सिंह को रौंद दिया. उनकी इलाज के दौरान एक निजी नर्सिंग होम में मौत हो गयी है. लेकिन इस मौत पर कई सवाल भी खड़े हो गये है, जो हत्या की ओर इशारा कर रहे हैं. हालांकि यह साधारण दुर्घटना है अथवा हत्या यह तो पुलिस अनुसंधान में ही पता चल पायेगा.
बताया जाता है कि जमालपुर केशोपुर निवासी 57 वर्षीय रामाशीष प्रसाद सिंह भारतीय खाद्य निगम के सफियाबाद स्थित डीपो का मैनेजर के पद पर तैनात थे. मंगलवार की शाम वे अपने कार्य का निष्पादन कर मोटरसाइकिल से जमालपुर घर जाने के लिए निकले. जब वे दौलतपुर श्रीराम पेट्रोल पंप के समीप पहुंचे तो पीछे से एक तेज रफ्तार ट्रैक्टर ने मोटरसाइकिल में धक्का मार दिया.
धक्का लगते ही डीपो मैनेजर दूर जा गिरे. और बुरी तरह से घायल हो गये, जबकि चालक ट्रैक्टर छोड़ कर फरार हो गया, जो बिना नंबर का है. इधर गंभीर स्थित में स्थानीय लोगों ने डीपो मैनेजर को सफियाबाद स्थित एक निजी नर्सिंग होम में भर्ती कराया गया. जहां इलाज के क्रम में उनकी मौत हो गयी.
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बताया जाता है कि रामाशीष प्रसाद सिंह ने 25 मई 2022 को सफियाबाद स्थित एफसीआइ गोदाम में डिपो मैनेजर के रूप में अपना योगदान किया था. इससे पहले वे मंडल कार्यालय भागलपुर में पदस्थापित थे. सूत्रों की माने तो एक दिन जब वे डीपो में ताला बंद कर चले गये और दूसरे दिन आये तो स्टॉक से 32 बोरा अनाज गायब मिला. हालांकि इसे लेकर किसी प्रकार की कोई शिकायत न तो विभाग से की गयी और न ही थाना में की गयी.
रामाशीष सिंह को जब लगा कि जो चाभी का गुच्छा है उसका डुप्टिकेट जरूर किसी के पास है. इसके बाद उन्होंने डीपो के सभी ताले को बदल दिया. माना जा रहा है कि यह गोदाम से हेराफेरी करने वालों को नागवार गुजरा. शायद इसी कारण किसी मारने की नियत से ही उनको धक्का मारा दिया. हालांकि इसकी पुष्टि प्रभात खबर नहीं करता है.
Published By: Thakur Shaktilochan