रांची : रांची विवि के छात्र इस साल जेएनयू और दिल्ली विवि के पीजी में नामांकन नहीं ले सकेंगे. इसकी बड़ी वजह स्नातक सत्र 2019-22 का सेशन विलंब हो गया है. इस लेट लतीफी प्रक्रिया की वजह से स्नातक के 25 हजार विद्यार्थियों को बड़ा झटका लगा है. क्योंकि दोनों विश्वविद्यालय में पीजी नामांकन की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है. जब तक यहां स्नातक का रिजल्ट जारी होगा, वहां नामांकन प्रक्रिया बंद हो जायेगी. इसके साथ ही स्नातक के विद्यार्थी अपने ही राज्य में बीएड में नामांकन से भी वंचित रह जायेंगे.
रांची विश्वविद्यालय के स्नातक सत्र 2019-22 में सभी कॉलेजों में मिलाकर लगभग 25 हजार विद्यार्थी पढ़ाई करते हैं. सेशन के अनुसार 2022 मई या जून में इनकी परीक्षा लेकर रिजल्ट जारी हो जाना चाहिए था. लेकिन इस बार ये परीक्षा देरी से होगी और रिजल्ट देर से प्रकाशित होने के कारण हजारों विद्यार्थियों पर इसका प्रभाव पड़नेवाला है.
विद्यार्थियों को पीजी में रांची विवि या डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी विवि में नामांकन लेना पड़ सकता है. परीक्षा नियंत्रक डॉ आशीष कुमार झा का कहना है कि पिछले साल स्नातक की परीक्षा भी देरी से हुई थी और इसका सेशन तो 2020 से ही देर से चल रहा है. जिसका असर इस सत्र पर भी पड़ा है.
दूसरी ओर रांची विवि के ही दो ऑटोनोमस कॉलेज अपने ही विवि से थोड़ा आगे हैं. यहां स्नातक के 2019-22 सत्र के रिजल्ट प्रकाशित होने की तैयारी चल रही है. रांची वीमेंस कॉलेज में स्नातक सेमेस्टर सिक्स की परीक्षा मई में आयोजित हो चुकी है और जुलाई के प्रथम सत्र में रिजल्ट प्रकाशित होगा. इसी तरह मारवाड़ी कॉलेज में भी मई और जून में सेमेस्टर सिक्स की फाइनल परीक्षा हो चुकी है और 15 जुलाई तक रिजल्ट जारी करने की तैयारी है.
रांची विश्वविद्यालय में स्नातक के सेमेस्टर एक से लेकर फाइव तक के विद्यार्थियों को मिड सेमेस्टर के आधार पर प्रमोट किया गया है. कॉलेज के माध्यम से सभी विद्यार्थियों की परीक्षा आयोजित की गयी है. जिसके बाद उन्हें उसी नंबर के आधार पर प्रमोट कर दिया गया है. रांची विवि में स्नातक सेमेस्टर का समय अंतराल भी छोटा हो गया है.
नियम के अनुसार एक सेमेस्टर से दूसरे सेमेस्टर के बीच छह महीने का अंतर होता है. लेकिन सत्र 2019-22 के पांचवें सेमेस्टर का रिजल्ट जारी होने के कुछ ही दिन बाद सेमेस्टर सिक्स की फाइनल परीक्षा आयोजित की जायेगी. इससे विद्यार्थियों को पढ़ने के लिए एक से डेढ़ महीने का ही समय मिल पायेगा.
स्नातक का सत्र तो पहले से ही पीछे चल रहा है. जिसका असर स्नातक के 2019-22 पर भी पड़ा है. इसके बाद भी हमारी कोशिश है कि जल्द से जल्द सेमेस्टर सिक्स की परीक्षा आयोजित करा सकें और रिजल्ट प्रकाशित किया जा सके.
डॉ आशीष कुमार झा, परीक्षा नियंत्रक रांची विवि
स्नातक सत्र में लेट लतीफी के कारण रांची विश्वविद्यालय के विद्यार्थी दो साल से पीछे हो गये हैं. पीजी में नामांकन के साथ ये अपने ही राज्य में बीएड में नामांकन से भी वंचित हो रहे हैं. वहीं इस बार भी झारखंड कंबाइंड की ओर से आयोजित बीएड की नामांकन प्रक्रिया की तारीख आठ जून को ही समाप्त हो गयी है. अब रांची विवि के विद्यार्थियों को बीएड में और दूसरे राज्यों में नामांकन के लिए एक साल और इंतजार करना होगा. सेशन लेट का ये दूसरा साल है.
Posted By: Sameer Oraon