बिहार में पिछले चार माह में शराबबंदी कानून के उल्लंघन में गिरफ्तार किये गये 43 हजार से अधिक लोगों में 14 हजार से अधिक शराब पीने के जुर्म में गिरफ्तार हुए हैं. शराबबंदी संशोधन के नये प्रावधान के बाद शराब पीने के जुर्म में जेल गये इन आरोपितों की रिहाई का रास्ता साफ हो जायेगा. इसके साथ ही शपथ पत्र भरने पर इनका केस भी बंद कर दिया जायेगा.
मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन विभाग के अनुसार, एक दिसंबर 2021 से 31 मार्च 2022 तक उत्पाद विभाग की टीम ने कुल 85,280 छापेमारी की, जिसमें 7442 अभियोग दर्ज किये गये. इस मामले में उत्पाद टीम ने कुल 5,344 को जेल भेजा, जिनमें 1933 शराब पीने वाले, 1826 शराब बचेने वाले, 932 शराब की होम डिलीवरी करने वाले, जबकि 653 ड्राइवर व संचालनकर्ता व अन्य लोग हैं.
शराबबबंदी को लेकर कार्रवाई में पुलिस की टीम मध निषेध विभाग से आगे है. पिछले चार माह में पुलिस ने राज्यभर में दो लाख से अधिक छापेमारी की, जिनमें 28,995 अभियोग दर्ज किये गये. इस मामले में 37,726 आरोपितों को जेल भेजा गया, जिनमें 12,412 शराब पीने वाले, 17,612 शराब बेचने वाले, 1142 होम डिलीवरी करने वाले, जबकि 6,560 ड्राइवर, संचालनकर्ता व अन्य लोग रहे.
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जिला- गिरफ्तार- शराबी
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पटना- 2689
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मुजफ्फरपुर- 1171
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सारण- 721
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पश्चिम चंपारण- 671
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भोजपुर- 565
बता दें कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में सोमवार को राज्य कैबिनेट की बैठक हुई. इस बैठक में बिहार मद्यनिषेध और उत्पाद (संशोधन) अधिनियम 2022 के तहत बिहार मद्यनिषेध और उत्पाद (संशोधन) नियमावली 2022 के प्रारूप को मंजूरी दी गयी. नये नियमों को मंजूरी मिलने के बाद अगर अब कोई व्यक्ति पहली बार शराब पीते हुए पकड़ा जाता है, तो उसे दो से पांच हजार रुपये तक जुर्माना लेकर छोड़ दिया जायेगा.लेकिन दूसरी बार पकड़े जाने पर अनिवार्य रूप से जेल की सजा होगी.
POSTED BY: Thakur Shaktilochan