मुजफ्फरपुर. सदर थाना क्षेत्र के शांति बिहार कॉलोनी से फर्जी एडीएम पकड़ा गया है. उसकी पहचान पटना के गर्दनीबाद थाना क्षेत्र के सरिस्ताबाद पुर्वी टोला निवासी आकाश कुमार के रूप में किया गया है. वह एक विधवा महिला को प्रेम की जाल में फंसा उससे हमदर्दी जता कर शादी करके बीते एक साल में एक करोड़ से अधिक की संपत्ति ठगी कर ली है. रविवार की शाम पीड़ित महिला अपने भाई के साथ सदर थाने पहुंच रोते हुए अपनी आप- बीती बतायी. सूचना पर पहुंची पुलिस टीम ने आरोपित को गिरफ्तार कर लिया. उसके पास से कटिहार व मुजफ्फरपुर के फर्जी एडीएम का बोर्ड, आइकार्ड और दो पिस्टल बरामद किया है. साथ ही एडीएम का बोर्ड लगा एक कार भी जब्त करके थाने लायी गयी है.
गिरफ्तार शातिर आकाश कुमार से देर शाम तक सदर थाने पर नगर डीएसपी रामनरेश पासवान व थानेदार सत्येंद्र कुमार मिश्र ने पूछताछ की. आकाश के पास से बरामद पिस्टल के बारे में पुलिस पूछताछ कर रही है. मामले में देर शाम तक प्राथमिकी की कवायद जारी थी. गर्दनीबाग थानाध्यक्ष अरुण कुमार ने बताया कि इस मामले की जानकारी अभी नहीं है. आकाश कुमार नाम का कोई शख्स या उससे जुड़ा फर्जी एडीएम जैसी कोई मामला सामने नहीं आया है.
शांति बिहार कॉलोनी के रहनेवाले प्रकाश कुमार ने बताया कि उसकी बहन विधवा थी. उनको 12 साल का एक बेटा और 13 साल की एक बेटी है. आरोपित आकाश कुमार दो साल पहले उसकी बहन को एसबीआइ बैंक में मिला था. खुद को बैंक का कर्मी बता बातचीत करने लगा. इस दौरान वह उसकी बहन के साथ हमदर्दी जताने लगा. कुछ दिनों बाद प्यार का इजहार करके शादी की जिद करने लगा.
आकाश ने प्रकाश कुमार की बहन से शादी का वादा किया. फिर, उसके दोनों बच्चे को अपना बच्चा मान बेहतर शिक्षा दिलाने की बात कह शादी के लिए तैयार कर लिया.पटना ले जाकर अपनी मां से मिलवाया. इसके बाद तीन जुलाई 2021 को रांची में उसकी बहन से शादी कर ली.
देहरादून में बच्चे का एडमिशन कराने के नाम पर हड़पा 6.50 लाख
महिला ने पुलिस को बताया कि शादी के बाद बोला कि उसकी बच्ची का देहरादून के सबसे बड़े स्कूल में एडमिशन करवायेगा. इसके नाम पर उससे 6.50 लाख रुपये ठग लिया. तय समय के बाद भी एडमिशन नहीं हुआ तो बताया कि कोरोना के तुरंत बाद नामांकन हो जायेगा.
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आरोपित आकाश कुमार ने महिला से जॉब के नाम पर कई बार में लाखों रुपये ऐंठ लिया. पीड़िता ने रोते हुए पुलिस को बताया कि उसके पास रुपये नहीं होते तो अपने रिश्तेदारों, कभी ब्याज पर पैसा लेकर देता था. आकाश उससे ऐंठे रुपये को अपनी बहन और बहनोई को भी भेज देता था.
पीड़ित महिला के भाई प्रकाश कुमार ने पुलिस को बताया कि वह 2021 के नवंबर माह में बताया कि उसकी पोस्टिंग कटिहार से मुजफ्फरपुर हो गयी है. कुछ दिनों में सरकारी क्वार्टर मिल जायेगा. इस दौरान वह होटल में रहेगा. लेकिन, आरोपित के साजिश को वह समझ नहीं पाया और उसने कहा कि जबतक क्वार्टर नहीं मिल जाता उसके घर में ही आकर रहो. वह घर के बाहर एडीएम मुजफ्फरपुर का बोर्ड भी लगा चुका था. साथ ही गाड़ी पर एडीएम मुजफ्फरपुर का बोर्ड लगाकर चलता था.
आकाश कुमार पर आरोप है कि नौकरी दिलाने पर व पुलिस व प्रशासन महकमे में पैरवी कराने के नाम पर कांटी पानापुर के अनिल राम समेत एक दर्जन से अधिक लोगों से लाखों रुपये की ठगी कर चुका है. वह हर घंटे कभी एसएसपी, कभी डीएम तो कभी पटना एसएसपी का कॉल आने की बात कह लोगों को झांसे में लेता था.
आकाश कुमार पर आरोप है कि पीड़िता का पटना में जो 40 लाख की जमीन थी उसको आकाश ने अपने रिश्तेदार को मात्र चार लाख रुपये में बेच दिया. इसके बाद ऑफिस आने- जाने के लिए 16.50 लाख रुपये में एक कार खरीदवायी. आरोपित लगातार बहाना बना रहा था कि आर्थिक अपराध की जांच के कारण उसका खाता फ्रिज कर दिया गया है. खाता ओपेन होते ही पैसा वापस कर देगा.
फर्जी एडीएम आकाश कुमार के लगातार बढ़ रहे पैसे की डिमांड से उसकी पत्नी व साले को शक हुआ. पहले उसका फोटो व आइकार्ड कटिहार डीएम को भेजा गया, तो उसने इसको फर्जी बताया. फिर, मुजफ्फरपुर डीएम के ह्वाट्सएप नंबर पर भी मैसेज किया गया, तो इसको गलत आदमी बताया. फिर, परिवार के सदस्यों को शक गहराया. आरोपित के पास दो-दो पिस्टल देख परिवार के सदस्य डर गये थे.