14.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

JIO की सैटेलाइट बेस्ड ब्रॉडबैंड के क्षेत्र में एंट्री, SES संग देशभर में शुरू करेगी सर्विस

Mukesh Ambani की कंपनी Jio Platforms और दुनियाभर में उपग्रह-आधारित कनेक्टिविटी देने वाली कंपनी SES ने Jio Space Technology Ltd नाम से एक संयुक्त उद्यम का गठन किया है.

  • संयुक्त उद्यम का नेटवर्क SES के उपग्रहों पर चलेगा

  • दूरदराज के क्षेत्रों में भी मिलेगा ब्रॉडबैंड

मुकेश अंबानी (Mukesh Ambani) की कंपनी जियो प्लैटफॉर्म्स (Jio Platforms) और दुनियाभर में उपग्रह-आधारित कनेक्टिविटी देने वाली कंपनी एसईएस (SES) ने जियो स्पेस टेक्नोलॉजी लिमिटेड (Jio Space Technology Ltd) नाम से एक संयुक्त उद्यम का गठन किया है.

किफायती ब्रॉडबैंड सर्विस

यह नया ज्वाइंट वेंचर देश भर में सैटेलाइट बेस्ड टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर किफायती ब्रॉडबैंड सेवाएं प्रदान करेगा. जियो प्लैटफॉर्म्स और SES के पास संयुक्त उद्यम में क्रमशः 51% और 49% इक्विटी हिस्सेदारी होगी. संयुक्त उद्यम मल्टी-ऑर्बिट स्पेस नेटवर्क का उपयोग करेगा. इस नेटवर्क में जियोस्टेशनरी (जीईओ) और मीडियम अर्थ ऑर्बिट (एमईओ) सैटेलाइट्स का इस्तेमाल किया जाएगा. नेटवर्क के मल्टी-गीगाबिट लिंक से भारत समेत पड़ोसी देशों के उद्यम, मोबाइल और खुदरा ग्राहक भी जुड़े सकेंगे.

Also Read: JIO के सस्ते लैपटॉप JioBook के बारे में आया बड़ा अपडेट, लाॅन्चिंग जल्द
भारत में विकसित करेगा व्यापक गेटवे इंफ्रास्ट्रक्चर

एसईएस 100 जीबीपीएस क्षमता उपलब्ध कराएगा, जिसको जियो अपने मजबूत सेल्स नेटवर्क से बेचेगा. निवेश योजना के हिस्से के रूप में, संयुक्त उद्यम देश के भीतर सेवाएं प्रदान करने के लिए भारत में व्यापक गेटवे इंफ्रास्ट्रक्चर विकसित करेगा. इस डील के तहत जियो अगले कुछ वर्षों में लगभग 100 मिलियन अमेरिकी डॉलर के गेटवे और उपकरण खरीदेगा. संयुक्त उद्यम में जहां SES अपने मॉडर्न सैटेलाइट देगा वहीं जियो, गेटवे इंफ्रास्ट्रक्चर का संचालन व प्रबंधन करेगा.

ब्रॉडबैंड तक पहुंच जरूरी

कंपनी ने बयान में कहा है कि कोविड -19 ने हमें सिखाया है कि न डिजिटल अर्थव्यवस्था में पूर्ण भागीदारी के लिए ब्रॉडबैंड तक पहुंच जरूरी है. यह संयुक्त उद्यम भारत को डिजिटल सेवाओं से जोड़गा. साथ ही दूरस्थ स्वास्थ्य, सरकारी सेवाओं और दूरस्थ शिक्षा के अवसरों तक पहुंच प्रदान करेगा.

नये डिजिटल इंडिया से जुड़ाव

जियो के निदेशक आकाश अंबानी ने कहा, हम अपनी फाइबर-आधारित कनेक्टिविटी और एफटीटीएच बिजनेस के साथ 5 जी में निवेश जारी रखेंगे. दूसरी तरफ एसईएस के साथ यह नया संयुक्त उद्यम मल्टीगीगाबिट ब्रॉडबैंड के विकास को और तेज करेगा. उपग्रह संचार सेवाओं द्वारा प्रदान की जाने वाली अतिरिक्त कवरेज और क्षमता के साथ, जियो दूरस्थ शहरों और गांवों, उद्यमों, सरकारी प्रतिष्ठानों और उपभोक्ताओं को नये डिजिटल इंडिया से जोड़ेगा. हम एसईएस की उपग्रह उद्योग में विशेषज्ञता के साथ जुड़ने पर उत्साहित हैं.

हाई-क्वालिटी वाली कनेक्टिविटी

एसईएस के सीईओ स्टीव कॉलर ने कहा, जियो प्लैटफॉर्म्स के साथ यह संयुक्त उद्यम इस बात का एक बेहतरीन उदाहरण है कि कैसे एसईएस उच्च गुणवत्ता वाले कनेक्टिविटी प्रदान करने के लिए सबसे व्यापक जमीनी नेटवर्क का पूरक हो सकता है, और लाखों लोगों के जीवन को सकारात्मक रूप से प्रभावित कर सकता है. हम इस संयुक्त उद्यम के लिए तैयार हैं.

‘गति शक्ति: मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी के राष्ट्रीय मास्टर प्लान’ को आगे बढ़ाने का जरिया

कंपनी की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार, यह संयुक्त उद्यम माननीय प्रधान मंत्री की ‘गति शक्ति: मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी के राष्ट्रीय मास्टर प्लान’ को आगे बढ़ाने का जरिया बनेगा. ताकि बुनियादी ढांचे को मजबूत करके एकीकृत और निर्बाध कनेक्टिविटी प्रदान की जा सके. यह भारतीय नागरिकों के लिए ब्रॉडबैंड कनेक्टिविटी का विस्तार करके, राष्ट्रीय डिजिटल संचार नीति और डिजिटल इंडिया कार्यक्रम में कनेक्ट इंडिया के लक्ष्यों को तेजी से बढ़ाएगा.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें