Delhi Crime News सेंट्रल ब्यूरो ऑफ नारकोटिक्स (Central Bureau of Narcotics) ने दिल्ली (Delhi News) के बवाना में एक अवैध ड्रग (Tramadol) बनाने वाली फैक्ट्री का भंडाफोड़ किया है. सेंट्रल ब्यूरो ऑफ नारकोटिक्स ने जानकारी देते हुए बताया कि शहद प्रसंस्करण संयंत्र (Honey Processing Plant) की आड़ में निर्माण इकाई चल रही थी और निर्मित ट्रामाडोल गोलियों (Tramadol Tablets) को आयुर्वेदिक दवा (Ayurvedic Medicine) के रूप में ब्रांडिंग किया गया था.
इससे पहले बीते वर्ष जून महीने में दिल्ली पुलिस ने नशीली दवा ट्रामाडोल हाईड्रोक्लाराइड टेबलेट की तस्करी करने के आरोप में छह लोगों को गिरफ्तार किया है. इस दवा को वैश्विक आतंकवादी संगठन आईएसआईएस (ISIS) के नाम से भी जाना जाता है. पुलिस ने कश्मीरी गेट इलाके में पिकेट चैकिंग के दौरान इन 42 हजार ट्रामाडोल हाईड्रोक्लाराइड टेबलेट को जब्त किया गया था जिसको फाइटर ड्रग भी कहा जाता है. जांच में पता चला कि जब्त की गई ड्रग हिमाचल प्रदेश में बनी थी. फैक्टरी मालिक ने इन टेबलेट को बनाने को लेकर कोई लाइसेंस भी नहीं ले रखा था.
Central Bureau of Narcotics has busted an illegal drug (Tramadol) manufacturing factory in Delhi's Bawana. The manufacturing unit was running in the guise of honey processing plant & manufactured Tramadol tablets were branded as Ayurvedic medicine: Central Bureau of Narcotics
— ANI (@ANI) February 9, 2022
ट्रामाडोल एक प्रतिबंधित दवा है और इसका इस्तेमाल दर्द निवारक दवा के रूप में इसका इस्तेमाल होता है. ट्रामाडोल दर्द निवारक दवाई ट्रामाडोल (Tramadol) का इस्तेमाल हिप फ्रैक्चर के खतरे को बढ़ा सकता है. एक अध्ययन में बताया गया है कि कैसे ट्रामाडोल जैसे पेन किलर का उपयोग सीमित करना बहेद जरूरी हो गया है. ट्रामाडोल मौखिक गोलियां जेनेरिक और ब्रांड-नाम दवा अल्ट्राम दोनों के रूप में उपलब्ध हैं. कई पेशेवर संगठनों की सिफारिशों की मानें, तो क्रोनिक दर्द वाले मरीजों के लिए ये कारगार है पर इसके नुस्खे को दुनिया भर में तेजी से बढ़ाया जा रहा है, जिसका लोगों को नुकसान भी हो सकता है.