UP Chunav 2022 : सियासत ने कभी भी कुछ भी परमानेंट नहीं होता. यहां मौका पड़ने पर दोस्त और दुश्मन बदलते रहते हैं. कुछ ऐसी ही तस्वीर प्रयागराज मंडल की 2 विधानसभा सीट हंडिया और चायल में देखने को मिल रही है. हंडिया विधानसभा से समाजवादी पार्टी से बागी हुए प्रशांत सिंह को एनडीए गठबंधन निषाद पार्टी ने अपना उम्मीदवार घोषित किया है. प्रशांत सिंह के पिता महेश नारायण समाजवादी पार्टी से 2012 में हंडिया विधानसभा से विधायक निर्वाचित हुए थे. पिता महेश नारायण सिंह की आकस्मिक मृत्यु के बाद 2013 में हुए उपचुनाव में प्रशांत हंडिया से विधायक निर्वाचित हुए थे.
हालांकि, 2017 के विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी ने प्रशांत सिंह का टिकट काटकर वासुदेव यादव की बेटी निधि यादव को प्रत्याशी बना दिया था. जिसके बाद प्रशांत ने प्रशांत सिंह नाराज हो गए थे. वहीं, इसबार सपा ने हकिमलाल बिंद को हंडिया से उम्मीदवार घोषित किया तो प्रशांत ने बागी तेवर अख्तियार कर लिया. हकिमला बिंद बसपा छोड़ कुछ माह पहले ही सपा में शामिल हुए थे. इधर हंडिया से टिकट कटने के बाद प्रशांत सिंह भाजपा और अपना दल के संपर्क में आ गए. तीन दिन पहले ही निषाद पार्टी ने प्रशांत को हंडिया से उम्मीदवार घोषित कर दिया है. बसपा ने हंडिया से नागेंद्र कुमार त्रिपाठी( मुन्ना त्रिपाठी) को उम्मीदवार घोषित किया है.
हंडिया विधानसभा का जातिगत समीकरण देखें तो ब्राह्मण करीब 95 हजार, यादव 90 हजार, अनसूचित जातीय 70 हजार, बिंद 50 हजार, मुस्लिम 40 हजार, क्षत्रीय 20 हजार व अन्य 25 हजार मतदाता है. वहीं इस सीट पर बसपा और सपा का पूर्व से ही खासा प्रभाव रहा है. बिंद समुदाय के मतदाता भी अधिक संख्या में होने की वजह से यह जीत के समीकरण में उनकी भी अहम भूमिका मानी जाती है. वहीं, इसबार के विधानसभा चुनाव में सपा से हकिम लाला बंद और एनडीए गठबंधन निषाद पार्टी से प्रशांत सिंह ब बसपा से नागेंद्र कुमार त्रिपाठी( मुन्ना त्रिपाठी) के आने से मुकाबला त्रिकोणीय हो गया है. इसके साथ ही सपा छोड़ निषाद पार्टी से आए प्रशांत सिंह का सीधे मुकाबला सपा के ही हकिम लाल बिंद से मना जा रहा है.
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कुल मतदाता 395530
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पुरुष 216124
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माहिल 183350
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मतदान 27 फरवरी
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परिणाम 10 मार्च
रिपोर्ट: एसके के इलाहाबादी