केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को वित्त वर्ष 2022-23 का बजट पेश किया. इसमें उन्होंने इंफ्रास्ट्रक्चर समेत विकास से जुड़े कई बड़े एलान किये. राजकोषीय घाटे को काबू में रखा गया है. पूंजीगत व्यय में बढ़ोतरी की गयी है. इससे आधारभूत संरचना को बढ़ावा मिलेगा. पूंजीगत लाभ के सरचार्ज को थोड़ा कम किया है. इससे कॉरपोरेट सेक्टर को फायदा होगा. टैक्स फाइल करने में कोई गलती हो जाती है, तो उसमें सुधार के लिए दो साल का मौका दिया गया है. कुल मिलाकर इस बजट में ऐसे कई प्रस्ताव शामिल है, जिनका आपकी जेब पर सीधा असर पड़ेगा.
सरकार 2021-22 के दौरान एमएसपी पर 1.63 करोड़ किसानों से 1,208 लाख टन गेहूं और धान की खरीद करेगी. एमएसपी मूल्य का 2.37 लाख करोड़ किसानों के खातों में खातों में डाले जायेंगे.’ पिछले बजट में सरकार ने 2.48 लाख करोड़ रुपये एमएसपी के लिए दिये थे.
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट में क्रिप्टोकरेंसी और अन्य डिजिटल संपत्तियों पर कराधान को स्पष्ट किया. उन्होंने ऐसी संपत्तियों में लेन-देन को लेकर 30 प्रतिशत कर लगाने का प्रस्ताव किया. साथ ही ऐसी संपत्तियों को कर के दायरे में लाने के लिए वित्त मंत्री ने इस संपत्ति की श्रेणी में एक सीमा से अधिक के लेन-देन पर एक प्रतिशत टीडीएस लगाने का भी प्रस्ताव किया. विशेषज्ञों ने कहा कि क्रिप्टोकरेंसी की बिक्री से प्राप्त आय पर 30 प्रतिशत कर लगाना ‘लॉटरी’, ‘गेम शो’ से जीती गयी राशि पर लगाये जाने वाले कर की दर के बराबर है.
वित्त मंत्री ने मंगलवार को बजट 2022 में लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन टैक्स पर लगने वाले सरचार्ज के बारे में एक अहम घोषणा की. वित्त मंत्री ने इस सरचार्ज की अधिकतम सीमा 15 फीसदी तय कर दी. अब तक लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन पर 20 प्रतिशत का टैक्स लगता था, जो आगे भी लगेगा ही, लेकिन उस पर लगने वाला सरचार्ज अब अधिकतम 15 प्रतिशत कर दिया गया है. इससे पहले 10 प्रतिशत से लेकर 37 प्रतिशत तक का सरचार्ज लगता था. दरअसल, कैपिटल गेन टैक्स दो तरह का होता है- शॉर्ट टर्म और लॉन्ग टर्म. लॉन्ग टर्म की अवधि अलग-अलग हो सकती है.
केंद्रीय और राज्य सरकार के कर्मचारियों में टैक्स डिडक्शन का अंतर खत्म करने का एलान किया गया है. अब राज्य सरकार के कर्मचारियों के लिए भी एनपीएस खाते में जाने वाली रकम पर टैक्स डिडक्शन की सीमा 10 फीसदी से बढ़ कर 14 फीसदी हो गयी है.
स्टार्टअप को राहत देते हुए कर लाभ की अवधि एक साल बढ़ाकर 31 मार्च, 2023 तक कर दी गयी है. 31.03.2022 से पहले के पात्र स्टार्टअप्स को निगमन से दस वर्षों में से तीन क्रमिक वर्षों के लिए कर प्रोत्साहन दिया गया था. कोविड महामारी को देखते हुए इसे और एक वर्ष के लिए बढ़ाया गया है.
टैक्स का भुगतान न करने वाले लोगों के मामले में वित्त मंत्री ने प्रस्ताव दिया कि तलाशी या छानबीन अभियान के दौरान पता चली किसी भी अघोषित आय को किसी भी प्रकार हानि या नुकसान के रूप में स्वीकृति नहीं दी जायेगी.
कट और पॉलिश्ड डायमंड और जेमस्टोन पर आयात शुल्क 7.5 प्रतिशत से घटा कर पांच प्रतिशत किया गया है. बजट में ई-कॉमर्स के जरिये आभूषणों के निर्यात बढ़ाने की बात कही गयी है. इसके लिए जून तक नया एक रेगुलेटरी फ्रेमवर्क लाया जायेगा. घरेलू इमिटेशन ज्वैलरी उद्योग को बढ़ावा देने के लिए इस पर कम-से-कम 400 रुपये प्रति किलो आयात शुल्क लगायी गयी है.
एथनॉल या बायोडीजल के मिश्रण के बगैर बिकने वाले पेट्रोलियम उत्पादों पर अतिरिक्त उत्पाद शुल्क लगाने का प्रस्ताव किया गया है. इससे वाहन ईंधन के दाम एक अक्तूबर, 2022 से दो रुपये प्रति लीटर तक बढ़ जायेंगे, जबकि पूर्वोत्तर जैसे कुछ क्षेत्रों में भी पेट्रोल की कीमतें बढ़ सकती हैं. फिलहाल गन्ने या अन्य खाद्यान्न से निकाले गये एथनॉल को 10 प्रतिशत के अनुपात में ही पेट्रोल में मिलाया जाता है.
बजट में पैसों को जुटाने के लिए ग्रीन बॉन्ड जारी करने का प्रस्ताव है. वित्त वर्ष 2022-23 के लिए पूंजीगत व्यय के लिए आवंटन को बढ़ा कर 7.5 लाख करोड़ किया गया है.
Posted by: Pritish Sahay
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