रांची : कोरोना के नये वैरिएंट और बढ़ते संक्रमण के बीच गंभीर बीमारियों से पीड़ित लोगों के लिए खतरा बढ़ गया है. कोमोर्बिडिटी (गंभीर बीमारियों से पीड़ित लोग) होने से इम्युनिटी कमजोर होती है. प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होने के कारण कोरोना का दुष्प्रभाव ज्यादा पड़ता है. स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी आंकड़ों की मानें, तो जनवरी के आठ दिन में ही 20 संक्रमितों की मौत हो गयी, इनमें से 90 फीसदी को पहले से गंभीर बीमारी थी.
पहली लहर से लेकर अब तक कुल 5164 लोगों की मौत हो चुकी है. इनमें से 90 फीसदी लोगों को किडनी या हार्ट संबंधी समस्या पहले से थी या फिर ये डायबिटीज से पीड़ित थे. इसे देखते हुए विशेषज्ञों का कहना है कि कोमोर्बिडिटी वाले मरीजों को सबसे ज्यादा सावधान रहने की जरूरत है. जनवरी में पूर्वी सिंहभूम में सात, बाेकारो-तीन, और रांची में दो,साहिबगंज और सरायकेला में एक संक्रमित की मौत हुई , जिनमें सभी गंभीर बीमारी से पीड़ित थे.
पहले से स्वस्थ हैं और टीका ले लिया है, तो संक्रमण जानलेवा नहीं : राज्य में फिलहाल एक्टिव केस की संख्या 21,098 है, लेकिन राहत की बात यह है कि इनमें 85 फीसदी एसिम्प्टोमैटिक यानी बिना लक्षणवाले हैं. मतलब इनमें कोई गंभीर लक्षण नहीं हैं. इन्हें अस्पताल में भर्ती होने की भी जरूरत नहीं पड़ती है. पांच फीसदी लोगों को माइल्ड संक्रमण है. रांची जिले में 8,535 संक्रमित हैं, जिनमें 250 को ही अस्पताल में भर्ती होने की जरूरत पड़ी है. इनमें भी अधिकांश खतरे से बाहर हैं. रिम्स में 35 संक्रमित भर्ती हैं, लेकिन सिर्फ दो की स्थिति गंभीर है. इन्हें पहले से कई बीमारी है.
Posted By : Sameer Oraon