रांची : क्रिश्चियन मेडिकल कॉलेज (सीएमसी) वेल्लोर के आयुष्मान योजना में पंजीकृत नहीं रहने से स्थानीय मरीजों को काफी परेशानी हो रही है. राज्य में बड़ी संख्या में मरीज अपना इलाज सीएमसी में गोल्डेन कार्ड पर कराना चाहते हैं, लेकिन इसमें वह विफल रह रहे हैं.
क्रिश्चियन मेडिकल कॉलेज (सीएमसी) वेल्लोर के आयुष्मान योजना में पंजीकृत नहीं रहने से स्थानीय मरीजों को काफी परेशानी हो रही है. राज्य में बड़ी संख्या में मरीज अपना इलाज सीएमसी में गोल्डेन कार्ड पर कराना चाहते हैं, लेकिन इसमें वह विफल रह रहे हैं.
सिल्ली के सुखदेव कुमार विश्वकर्मा ने असाध्य रोग योजना के तहत सीएमसी वेल्लोर जाकर अपना प्रारंभिक इलाज शुरू कराया. सीएमसी के डॉक्टरों ने सर्जरी कॉस्ट के तौर पर करीब दो लाख का अनुमानित खर्च बताया. मरीज ने झारखंड आकर जिला चिकित्सा सहायता समिति को पेपर तैयार कर नि:शुल्क इलाज की मंजूरी मांगी. लेकिन सीएमसी के साथ समझौता नहीं होने के कारण मरीज को कहीं और इलाज कराने को कहा गया, जिससे उनकी परेशानी बढ़ गयी.
क्लेम भुगतान में देरी और इलाज के कम पैकेज को लेकर रांची के मेडिका, मेदांता, पल्स, रामप्यारी सुपर स्पेशियलिटी, सेंटेविटा और आर्किड जैसे बड़े निजी अस्पताल भी अभी तक इस योजना से संबद्ध नहीं हो पाये हैं.
Posted By: Sameer Oraon