रांची : सभी विश्वविद्यालयों व कॉलेजों में एमफिल व पीएचडी कर रही छात्राअों को अब मातृत्व अवकाश (मेटेरनिटी लीव) तथा बच्चों की देखभाल के लिए अवकाश (चाइल्ड केयर लीव) मिलेगा. इसके अलावा विश्वविद्यालयों व कॉलेजों में स्नातक व स्नातकोत्तर कर रही छात्राअों को मातृत्व व बच्चों की देखभाल के लिए कक्षा में उपस्थिति में छूट मिलेगी.
जबकि परीक्षा फॉर्म भरने के लिए विशेष परिस्थिति में तिथि में विस्तार किया जा सकेगा. केंद्र के निर्देश पर विश्वविद्यालय अनुदान अायोग ने सभी विश्वविद्यालय सहित उच्च शिक्षण संस्थानों को इसे लागू करने की दिशा में कार्रवाई करने का निर्देश दिया है. यूजीसी के सचिव प्रो रजनीश जैन ने सभी विवि के कुलपति को पत्र भेज कर कहा कि विवि इसके लिए अपने यहां नियम/परिनियम तैयार करें और इसे यथाशीघ्र लागू करायें.
सचिव ने कहा है कि एमफिल व पीएचडी कर रही छात्राअों को 240 दिन में मातृत्व अवकाश या फिर बच्चों की देखभाल में से किसी एक मौके का लाभ दिया जा सकता है. यूजीसी ने निर्देश दिया है कि विश्वविद्यालय अपने यहां परिनियम में एमफिल/पीएचडी डिग्री रेगुलेशन 2016 के तहत (द वूमेन कंडीटेड में बी प्रोवाइडेड मैटरनिटी लीव/चाइल्ड केयर लीव वंस इन द इनटायर ड्यूरेशन ऑफ एमफिल/पीएचडी फॉर अप टू 240 डे) इसे शामिल करें.
Posted By : Sameer Oraon