बेतिया. पश्चिम चंपारण के नौतन में गुरुवार को 12 लोगों की संदेहास्पद मौत हो गई. जबकि दो दर्जन से ज्यादा लोग बीमार हैं. उनका प्राइवेट अस्पतालों में इलाज चल रहा है. चर्चा है कि सबों की मौत जहरीली शराब पीने से हुई है. हालांकि प्रशासन की ओर से जहरीली शराब से मौत की पुष्टि नहीं कर रही है. इधर, मृतकों के परिजन आनन-फानन में शव का अंतिम संस्कार करने में जुटे हुए हैं. शराबबंदी (Liquopr Ban) वाले बिहार में बीते दो दिनों के दरम्यान जहरीली शराब (Poisonous Alcohol) पीने से 21 लोगों की मौत हो चुकी है.
ग्रामीणों ने पुलिस के संरक्षण में शराब बिक्री करने का आरोप लगाते हुए आक्रोश जताया है. दो दर्जन से अधिक लोग बीमार हैं, जिनका अलग-अलग जगहों पर प्राइवेट अस्पतालों में इलाज चल रहा है. इसमें तीन लोगों की हालत अत्यंत गंभीर बताई जा रही है. ग्रामीण सूत्रों के हवाले से मिली जानकारी के अनुसार दक्षिण तेल्हुआ पंचायत की वार्ड नंबर चार में जहरीली शराब पीने से हनुमत सिंह, महराज यादव, बच्चा यादव , मुकेश पासवान, जवाहिर सहनी, रमेश सहनी की मौत की हो गयी. जबकि इसी गांव के उमा साह की भी मौत की सूचना है. उमा के स्वजन बीमारी से मौत की बात कह रहे हैं. वहीं ठग साह व दो अन्य लोगों को इलाज के लिए प्राइवेट अस्पताल में ले जाया गया है.
सूचना मिलने के बाद गुरुवार की सुबह में स्थानीय थाने की पुलिस गांव में पहुंची है. थानाध्यक्ष मनीष कुमार ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है. एसडीपीओ मुकुल परिमल पांडेय ने बताया कि संदिग्ध परिस्थिति में कुछ लोगों की मौत की सूचना आ रही है. पुलिस गांव में पहुंच गयी है. जांच के बाद ही स्थिति स्पष्ट होगी. शराबबंदी (Liquopr Ban) वाले बिहार में बीते दो दिनों के दरम्यान जहरीली शराब (Poisonous Alcohol) पीने से 20 लोगों की मौत हो चुकी है. साल 2021 की बात करें तो अब तक जहरीली शराब करीब 85 से अधिक लोगों की जान ले चुकी है. ऐसी घटनाओं को लेकर विपक्ष (Opposition) मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) की शराबबंदी को फेल बताते हुए सरकार पर हमलावर है तो सत्ताधारी जनता दल यूनाइटेड (JDU) ने कहा है कि मुख्यमंत्री अवैध शराब की घटनाओं को लेकर गंभीर हैं.
शवों को बिना पोस्टमॉर्टम जलाने का आरोप
राजद नेता और बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने आरोप लगाया कि पुलिस अधिकांश शव बिना पोस्टमॉर्टम जला रही है. प्रतिपक्ष के नेता ने सवाल किया कि इन मौतों के जिम्मेदार क्या शराबबंदी का ढोल पीटने वाले मुख्यमंत्री नीतीश कुमार नहीं हैं? उधर, जेडीयू ने तेजस्वी यादव पर पलटवार करते हुए कहा कि तेजस्वी अप्रवासी बिहारी हैं. उन्हें बिहार की स्थिति की जानकारी नहीं है.