उत्तर प्रदेश में पीएम किसान सम्मान निधि योजना में हो रहे भौतिक सत्यापन ने योगी सरकार की टेंशन बढ़ा दी है. सरकार ने पत्र जारी करते हुए कहा है कि वेरिफिकेशन के नाम पर जो गलत नाम कटे हैं, उसकी जांच हो और दोषियों पर कार्रवाई की जाए. बता दें कि अब से कुछ दिन बाद सरकार की ओर से पीएम किसान निधि योजना की अगली किस्त जारी की जाएगी.
अंग्रेजी अखबार टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के मुताबिक उत्तर प्रदेश शासन के मुख्य सचिव आरके तिवारी ने सभी जिलाधिकारियों को पत्र लिखा है. पत्र में कहा गया है कि वेरिफिकेशन के नाम पर गलत तरीके से लोगों का नाम काट दिया गया है, जिसकी शिकायत लोगों ने राज्य सरकार से की है.
पत्र में आगे कहा गया है कि 2019-20 में इस तरह के 5% मामले सामने आए थे, जबकि 2020-21 में यह बढ़कर 10% हो गया है. मुख्य सचिव ने अपने पत्र में जिलाधिकारी से मामले की जांच कराकर दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई करने का निर्देश दिया है. बता दें कि उत्तर प्रदेश में करीब 2 करोड़ 81 लाख किसानों को इस योजना का लाभ मिलता है.
इधर, बताया जा रहा है कि पीएम किसान योजना के अगस्त-सितंबर वाली किस्त में यूपी के 658376 किसानों के खाते में पैसा नहीं आया, जिसके बाद सरकार ने 11 अक्टूबर से 13 अक्टूबर तक किसान समाधान दिवस का आयोजन किया था. इसमें किसानों के डॉक्यूमेंट सही किए गए हैं. माना जा रहा है कि जल्द ही किसानों के पैसे उनके खाते में आ सकते हैं.
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