नयी दिल्ली: संसद के हंगामेदार मानसून सत्र (Monsoon Session) के बाद मंगलवार को अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) से जुड़े 127वें संविधान संशोधन विधेयक (Constitution Amendment Bill) पर लोकसभा (Lok Sabha) में चर्चा हुई. इस दौरान कांग्रेस के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी (Rahul Gadhi) सदन में मौजूद नहीं थे. वे जम्मू-कश्मीर (Rahul Gandhi in Jammu And Kashmir) के दौरे पर थे. इसी दौरान कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कपिल सिब्बल (Kapil Sibbal) ने गांधी परिवार (Gandhi Family) पर निशाना साधा है. उन्होंने पूछा है कि कौन सी ऐसी पार्टी है, जो बिना पूर्णकालिक अध्यक्ष के बगैर काम कर सकती है.
कांग्रेस (Congress) पार्टी में बदलाव की मांग कर रहे बगावती गुट जी-23 (G-23) के नेता कपिल सिब्बल (Kapil Sibbal) ने एक बार फिर पार्टी नेतृत्व पर निशाना साधा. एक न्यूज चैनल से बात करते हुए कपिल सिब्बल ने सोनिया गांधी (Sonia Gandhi) और राहुल गांधी (Rahul Gandhi) के नेतृत्व पर भी सवाल खड़े किये हैं. इंटरव्यू में सिब्बल ने कहा कि सोनिया गांधी से वर्ष 2019 से उनकी कोई बातचीत नहीं हुई.
एक ओर पेगासस, किसान आंदोलन समेत अन्य मुद्दों पर कांग्रेस पार्टी विपक्ष को एकजुट करके केंद्र सरकार को घेरने में जुटी हुई है, तो दूसरी तरफ देश की सबसे पुरानी राष्ट्रीय पार्टी का अंतर्कलह सतह पर आ गया है. कपिल सिब्बल ने अपने जन्मदिन पर विपक्षी दलों के नेताओं को डिनर पर बुलाया. इस संबंध में जब उनसे सवाल पूछा गया, तो उन्होंने कहा कि डिनर कांग्रेस पार्टी के खिलाफ नहीं था. यह गांधी परिवार के समर्थन में था.
देश के पूर्व कानून मंत्री सिब्बल ने कहा कि वे इस डिनर के जरिये बीजेपी के विकल्प की संभावना तलाश रहे थे. सोमवार को कपिल सिब्बल के इस डिनर में सोनिया गांधी और राहुल गांधी की गैरमौजूदगी पर सवाल उठाये जा रहे थे. डिनर में विपक्ष के 17 दलों के 45 नेता शामिल हुए थे. बताया जाता है कि इसकी वजह से भी चर्चा का बाजार गर्म है, क्योंकि राहुल की बैठक से ज्यादा नेता कपिल सिब्बल के डिनर में शामिल हुए थे.
कपिल सिब्बल के डिनर में ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी), शरद पवार की पार्टी राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी), चंद्रबाबू नायडू की पार्टी तेलुगुदेशम पार्टी (टीडीपी), लालू प्रसाद यादव की पार्टी राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी), के चंद्रशेखर की पार्टी तेलंगाना राष्ट्र समिति (टीआरएस), नवीन पटनायक की पार्टी बीजू जनता दल (बीजेडी), वाईएसआर कांग्रेस, अकाली दल, द्रविड़ मुन्नेत्र कषगम (डीएमके), शिवसेना, समाजवादी पार्टी (सपा), मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीएम), भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीआई), आम आदमी पार्टी (आप), नेशनल कॉन्फ्रेंस (एनसी), राष्ट्रीय लोकदल (आरएलडी) जैसे दल शामिल थे. खास बात यह है कि सिब्बल के डिनर में वैसी पार्टियों के नेता भी शामिल हुए, जो आमतौर पर विपक्षी दलों के साथ नहीं दिखते.
ज्ञात हो कि कपिल सिब्बल के अलावा गुलाम नबी आजाद, भूपिंदर सिंह हुड्डा और राज बब्बर जैसे सीनियर नेता लंबे अरसे से कांग्रेस पार्टी की कार्यशैली में बदलाव की मांग कर रहे हैं. कांग्रेस में बदलाव की आवाज बुलंद करने के लिए इन नेताओं ने ग्रुप-23 (ग्रुप-23) का गठन किया. पार्टी ने इनकी मांग को बगावत मान लिया. दूसरी ओर, जी-23 के नेताओं ने जम्मू में एक कार्यक्रम का आयोजन करके पार्टी के शीर्ष नेताओं पर हमला बोला था. लोकसभा में विपक्ष के नेता अधीर रंजन चौधरी ने जी-23 की जमकर आलोचना की थी.
Posted By: Mithilesh Jha