कोलकाता: संसद में बिजली (संशोधन) विधेयक, 2020 पेश करने के केंद्र सरकार के फैसले पर बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने आपत्ति जतायी है. उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को चिट्ठी लिखकर उनकी सरकार के इस कदम को ‘जन विरोधी’ करार दिया है. शनिवार को मुख्यमंत्री ने पीएम मोदी को लिखा कि वह इस विधेयक पर आगे नहीं बढ़ें.
उन्होंने प्रधानमंत्री ने अनुरोध किया कि वो ‘यह सुनिश्चित करें कि इस विषय पर व्यापक-आधार वाला और पारदर्शी संवाद जल्द से जल्द शुरू किया जाये. तृणमूल कांग्रेस सुप्रीमो ने लिखा कि मैं काफी आलोचना झेल चुके विद्युत (संशोधन) विधेयक 2020 को संसद में पेश करने की केंद्र सरकार की नयी पहल के खिलाफ फिर से अपना विरोध दर्ज करवाने के लिए यह पत्र लिख रही हूं.
West Bengal CM Mamata Banerjee writes to PM Narendra Modi to "re-lodge protest against the Union Government's fresh move to place the much-criticized Electricity (Amendment) Bill, 2020 in Parliament" pic.twitter.com/6g8YC6k4DY
— ANI (@ANI) August 7, 2021
ममता बनर्जी ने कहा कि इसे पिछले साल पेश किया जाना था, लेकिन हममें से कई लोगों ने मसौदा विधेयक के जन-विरोधी पहलुओं को रेखांकित किया था और कम से कम मैंने 12 जून 2020 को आपको लिखे अपने पत्र में इस विधेयक के सभी मुख्य नुकसानों के बारे में विस्तार से बताया था.
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ममता बनर्जी ने पिछले साल 12 जून को मोदी को पत्र लिखकर मसौदा विद्युत (संशोधन) विधेयक 2020 को लेकर अपनी नाराजगी जाहिर की थी, जो उनके मुताबिक देश के संघीय ढांचे को ‘बर्बाद’ करने का केंद्र द्वारा एक प्रयास था.
उन्होंने दावा किया कि इस विधेयक का उद्देश्य समूचे राज्य विद्युत ग्रिड को नेशनल ग्रिड का एक हिस्सा बनाना है. उन्होंने कहा, ‘मैं यह सुनकर हैरान हूं कि हमारी आपत्तियों पर कोई विचार किये बिना यह विधेयक आ रहा है और वास्तव में इस बार इसमें कुछ बेहद जन-विरोधी चीजें भी हैं.’
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Posted By: Mithilesh Jha