पंजाब कांग्रेस में जारी बवाल अब अंतिम चरण में चर्चा है कि नवजोत सिंह सिद्धू को आज पंजाब कांग्रेस की जिम्मेदारी दी जा सकती है. पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टरन अमरिंदर सिंह ने चिट्ठी लिखकर इस फैसले के खिलाफ नाराजगी जाहिर कर दी है लेकिन पंजाब में दो गुटों में बटी कांग्रेस पंजाब चुनाव में कितनी मजबूती के साथ लड़ पायेगी यह वक्त के साथ ही पता चलेगा.
खबरों के अनुसार सिद्धू की दावेदारी का ऐलान कुछ घंटों में हो सकता है. कैप्टन अमरिंदर सिंह और नवजोत सिंह सिद्धू एक दूसरे के खिलाफ बयान देते रहे हैं. विवाद इतना बढ़ा कि अब इस पर फैसला कांग्रेस आलाकमान के हाथ में है. चर्चा तेज है कि सिद्धू को पंजाब में कांग्रेस की जिम्मेदारी दी जा रही है. कैप्टन अमरिंदर सिंह ने इस मामले में सोनिया गांधी को भी चिट्ठी लिखी है.
Also Read:
Corona Third Wave : कोरोना संक्रमण की तीसरी लहर को लेकर क्या कहते हैं एक्सपर्ट, कितना होगा खतरनाक
खबर है कि पंजाब कांग्रेस का अध्यक्ष बनाये जाने के बाद नवजोत सिंह सिद्धू अमृतसर के गोल्डन टैंपल में माथा टेकेंगे. सूत्रों के अनुसार सिद्धू इस पद तक पहुंचने केलिए अमृतसर की जनता का आभार व्यक्त करना चाहते हैं इसलिए वो यहां आ सकते हैं.
कैप्टन अमरिंदर सिंह ने कल कई विधायकों से मुलाकात की है ऐसा माना जा रहा है कि अंदरखाने में कांग्रेस के सभी बड़े नेताओं को खबर है कि सिद्धू को पंजाब कांग्रेस की जिम्मेदारी मिल रही है ऐसे में सिद्धू नेताओं से मिलकर उनके सहयोग और समर्थन की अपील कर रहे हैं.
इस चर्चा के बाद नवजोत सिंह सिद्धू के समर्थकों ने जश्न मनाना शुरू कर दिया है. पंजाब में कई इलाकों में सिद्धू के पोस्टल उनके समर्थकों ने लगाये हैं जिनमें कैप्टन अमरिंदर सिंह को जगह नहीं मिली है
Also Read: 17 यूरोपीय देशों ने की कोविशील्ड को मान्यता, यात्रा में नहीं होगी परेशानी
कैप्टन अमरिंदर सिंह ने भले ही सोनिया गांधी को लिखी चिट्ठी में नाराजगी जाहिर की हो लेकिन उन्होंने हरीश रावत से मुलाकात में यह कहा है कि वह पार्टी का फैसला मानेंगे. हरीश रावत ने मुलाकात के बाद पत्रकारों से बातचीत में भी यही कहा हि कैप्टन अमरिंदर सिंह पार्टी अध्यक्ष के फैसले पर सहमति देंगे. ऐसे में बड़ा सवाल अब भी है कि क्या इस फैसले के बाद पंजाब कांग्रेस में विवाद खत्म हो जायेगा