बिहार में लगातार हो रहे बारिश और वज्रपात से कई इलाकों में जनजीवन अस्त-व्यस्त पड़ा हुआ है. बाढ़ की वजह से लोगों को हाइवे और उच्च स्थानों पर शरण लेनी पड़ रही है, वहीं बारिश के दौरान वज्रपात से होने वाली मौत के आंकड़े डराने वाला है. पूरे देश की बात करें तो, बिहार में ठनका गिरने से सबसे अधिक लोगों की मौत हुई है.
डेक्केन हेराल्ड ने सीआरओपीसी की एक रिपोर्ट के हवाले से बताया कि बिहार में 1 अप्रैल 2020 से 31 मार्च 2021 तक ठनका गिरने से करीब 400 से अधिक लोगों की मौत हुई है. बिहार में वज्रपात से हुई मौत का यह आंकड़ा डरावना है.
इधर, मौसम केंद्र ने बताया कि अगले 15 जुलाई तक कहीं-कहीं हल्की वर्षा हो सकती है. इस अवधि में अच्छी वर्षा की संभावना नहीं है. कृषि मौसम सेवा पूसा के तकनीकी पदाधिकारी डा गुलाब सिंह के अनुसार 15 जुलाई के बाद कुछ स्थानों पर हल्की वर्षा हो सकती है.
17 से 18 जुलाई को अधिकांश जगहों पर मेघ गर्जन के साथ आकाशीय बिजली गिरने की संभावना है. इस अवधि में अधिकतम तापमान 33 से 36 डिग्री सेल्सियस के बीच रह सकता है, जबकि न्यूनतम तापमान 25 से 27 डिग्री सेल्सियस रह सकता है. इस अवधि में पुरवा हवा औसतन 10 से 15 किलोमीटर प्रति घंटा रफ्तार से रहने का अनुमान है.
बताते चलें कि वज्रपात से पूरे देश भर में साल 2020-21 के दौरान करीब 1600 से अधिक लोगों की मौत हुई. बिहार के अलावा यूपी, एमपी, छत्तीसगढ़ और झारखंड में ठनका गिरने से सबसे अधिक लोगों की मौत हुई.
Posted By : Avinish Kumar Mishra