पटना. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सभी अधिकारियों से कहा कि बाढ़पीड़ितों की हर प्रकार से मदद करनी है. सभी डीएम को निर्देश देते हुए उन्होंने कहा है कि हवाई सर्वेक्षण कर अपने-अपने जिले के सभी इलाकों की जानकारी लें और उसके आधार पर आकलन करें. मुख्यमंत्री ने ये बातें बुधवार को दरभंगा, मधुबनी और समस्तीपुर जिलों के बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण के बाद अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक में कहीं.
वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के माध्यम से इस बैठक में आपदा प्रबंधन विभाग, जल संसाधन विभाग के आलाधिकारी, दरभंगा, समस्तीपुर और मधुबनी के डीएम भी जुड़े रहे. मुख्यमंत्री ने लगातार दूसरे दिन दरभंगा, मधुबनी और समस्तीपुर जिलों का हवाई सर्वेक्षण किया. इस दौरान दरभंगा जिले के हायाघाट, बहादुरपुर, हनुमान नगर, घनश्यामपुर, मधुबनी जिले के मधवापुर, खजौली, फुलपरास और घोघराडीहा तथा समस्तीपुर जिले के बिथान, सिंघिया, बरियाही और कल्याणपुर का जायजा लिया.
हवाइ सर्वेक्षण में जल संसाधन मंत्री संजय कुमार झा भी साथ थे. मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा कि लोगों के रिलीफ के लिए हम सबको काम करना है. सरकार के खजाने पर पहला अधिकार आपदा पीड़ितों का है. इसके लिए शुरू से काम किया गया है. वर्ष 2007 में लगभग ढाई करोड़ लोग बाढ़ से पीड़ित हुए थे और उन्हें सभी प्रकार की उपलब्ध करायी गयी थी.
हमलोग मॉनसून के पहले बाढ़ की समीक्षा करते हैं और उसके आधार पर पूरी तैयारी की जाती है. उन्होंने कहा कि लगातार बारिश से इस बार कई जिले पीड़ित हुए हैं और बाढ़ की स्थिति बनी है. हवाई सर्वेक्षण के दौरान उन्होंने देखा कि कई इलाकों में पानी फैला हुआ है.
बैठक में जल संसाधन मंत्री संजय कुमार झा, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव दीपक कुमार और चंचल कुमार, आपदा प्रबंधन विभाग के अपर मुख्य सचिव प्रत्यय अमृत, जल संसाधन विभाग के सचिव संजीव हंस, आपदा प्रबंधन विभाग के विशेष कार्य पदाधिकारी संजय कुमार अग्रवाल, मुख्यमंत्री के सचिव अनुपम कुमार, मुख्यमंत्री के विशेष कार्य पदाधिकारी गोपाल सिंह उपस्थित थे. वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के माध्यम से मुख्य सचिव त्रिपुरारि शरण, विकास आयुक्त आमिर सुबहानी और दरभंगा, समस्तीपुर व मधुबनी के डीएम जुड़े हुए थे.
मुख्यमंत्री ने निर्देश देते हुए कहा कि लोगों को तुरंत सहायता उपलब्ध करानी है. लोगों को मदद मिलने से उन्हें संतुष्टि होती है. हम सभी को लोगों की सहायता और सुरक्षा के लिए पूरी तत्परता के साथ काम करना है. हर चीज का सही से आकलन होगा तो रिलीफ बेहतर ढंग से हो सकेगा. उन्होंने अधिकारियों से कहा कि किसानों को कृषि कार्य में हुए नुकसान का आकलन कर उन्हें सहायता उपलब्ध कराने के लिए उपाय करें.
राहत कैपों में कोरोना जांच और टीकाकरण अवश्य कराएं. कोरोना पॉजिटिव के रहने और देखभाल की अलग से व्यवस्था करवाएं. उन्होंने कहा कि अभी कोरोना और बाढ़ की स्थिति है. उन्होंने क्षेत्रों में राहत कार्य योजनाबद्ध ढंग से करने और खाने के लिए पूरी तरह सतर्कता बरतने सहित तैयारियां रखने का निर्देश दिया.
Posted by Ashish Jha