सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने डिजिटल मीडिया पब्लिसर्श जिनमें ओटीटी प्लेटफार्म भी शामिल हैं उन्हें नयी गाइडलाइन के अनुसार अपनी सभी जानकारी सरकार को उपलब्ध कराने के लिए 15 दिन का समय दिया है.
गौरतलब है कि सरकार ने फरवरी महीने में डिजिटल मीडिया और ओटीटी प्लेटफाॅर्म और सोशल मीडिया के लिए नयी गाइडलाइन जारी की थी और उन्हें तीन महीने का समय दिया था कि वे इसके अनुसार खुद को ढाल लें.
नये नियम 26 मई से लागू हो गये हैं, लेकिन डिजिटल मीिडया और ओटीटी प्लेटफाॅर्म ने 26 को जरूरी जानकारी नहीं दी है, जिसकी वजह से सरकार ने सख्त रुख अख्तियार कर लिया है.
सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि नये नियमों को लागू करने के पीछे उद्देश्य यह है कि सूचना के किसी भी माध्यम के जरिये फेक न्यूज का प्रसार ना हो. नये नियमों के अनुसार महिलाओं पर की गयी आपत्तिजनक टिप्पणी और न्यूड तस्वीर को 24 घंटे के अंदर हटाना होगा.
केंद्र सरकार के मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा था कि व्हाट्सएप हर सुरक्षा तो चाहता है लेकिन वह यह बताना नहीं चाहता कि नफरत फैलाने वाली चीजें कहां से आ रही हैं. हम निजता का सम्मान करते हैं, लेकिन नफरत फैलाने वाली सूचना के बारे में उन्हें जानकारी देनी होगी.
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नये कानून के अनुसार ओटीटी प्लेटफाॅर्म और सोशल मीडिया को कई वर्ग में बांटा गया है जहां आयु और कंटेंट के हिसाब से कैटेगरी बनायी गयी है. ट्विटर को सरकार ने खास सोशला मीडिया मानते हुए उनसे उसी के अनुसार आचरण करने के कहा था.
Posted By : Rajneesh Anand