पटना. अप्रैल में पटना जिले में कोरोना वायरस का संक्रमण हर दिन नये रिकॉर्ड बना रहा है. गुरुवार को अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान, इंदिरा गांधी इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस और पीएमसीएच के लगभग 50 से अधिक डॉक्टर-स्वास्थ्य कर्मी समेत राजधानी में 2643 नये संक्रमित मिले.
पिछले एक सप्ताह में जिला स्वास्थ्य समिति के अधीन पटना जिले में कोरोना जांच व इससे संबंधित कार्य में जुटे एक 200 से अधिक स्वास्थ्य कर्मी संक्रमित हो चुके हैं. इसके कारण राजधानी में कोरोना को लेकर चल रहे बचाव व अन्य कार्य की रफ्तार भी धीमी हो गयी़
एक्टिव मरीज की संख्या 16547 पहुंची, 15 हजार होम आइसोलेशन में : पटना जिले में जहां कोरोना मरीजों की संख्या रोजाना नया रिकॉर्ड बना रही है. गुरुवार को एक्टिव मरीजों की संख्या 16547 के पार पहुंच गयी.
इनमें 15 हजार के करीब मरीज होम आइसोलेशन में हैं. वहीं, बाकी गंभीर मरीजों का इलाज शहर के पीएमसीएच, आइजीआइएमएस, एनएमसीएच, एम्स के अलावा अलग-अलग प्राइवेट अस्पतालों में चल रहा है, जबकि जिले में अब तक 556 मरीजों की मौत हो चुकी है.
एक महिला मरीज की मौत और हंगामा के बाद नालंदा मेडिकल कॉलेज अस्पताल के पीजी डॉक्टरों ने कार्य बहिष्कार कर दिया. देर रात तक प्राचार्य डॉ एचएल महतो और अधीक्षक डॉ विनोद कुमार सिंह की पीजी डॉक्टर के साथ वार्ता होती रही.
इसी बीच अधीक्षक ने डीएम को पत्र भेजा है, जिसमें कोविड अस्पताल में सुरक्षा व्यवस्था बनाय रखने के लिए तीनों पालियों में कम-से-कम 20 पुलिस बल तैनात करने को कहा गया है. इधर जूनियर डॉक्टर एसोसिएशन के अध्यक्ष रामचंद्र प्रसाद ने बताया कि अस्पताल अधीक्षक प्रशासन की ओर से सुरक्षा की दिशा में सार्थक पहल की व्यवस्था के बाद ही काम पर लौटेंगे.
Posted by Ashish Jha