कानपुर. पुलिस की आंखों में धूल झोंकते हुए जय के तीनों भाइयों ने शुक्रवार को विशेष न्यायाधीश गैंगस्टर की कोर्ट में सरेंडर कर दिया. अधिवक्ता ने अंतरिम जमानत की अर्जी दी लेकिन न्यायालय ने उसे नहीं माना. तीनों को अस्थायी जेल चौबेपुर भेज दिया गया है. जयकांत के भाई रजयकांत बाजपेयी, अजय कांत और शोभित बाजपेयी ने विशेष न्यायाधीश गैंगस्टर कोर्ट में सरेंडर की अर्जी गुरुवार को दी थी. लेकिन तब न तो पुलिस रिपोर्ट आ सकी और न ही तीनों समय से कोर्ट पहुंचे थे.
शुक्रवार की दोपहर अधिवक्ता देवेंद्र द्विवेदी ने तीनों को न्यायालय में हाजिर कराया. न्यायालय ने तीनों का आत्मसमर्पण स्वीकार करते हुए उन्हें न्यायिक हिरासत में जेल भेजने के आदेश दिये. अधिवक्ता ने बताया कि तीनों भाइयों को अंतरिम जमानत दिए जाने की मांग न्यायालय से की थी जिसे न्यायालय ने स्वीकार नहीं किया. अब वह नियमित जमानत के लिए शनिवार को प्रार्थना पत्र देंगे.
उन्होंने बताया कि पुलिस ने 323 और 504 के आधार पर गैंगस्टर लगा दी. इसके साथ ही तीनों पर 25-25 हजार रुपये का इनाम भी घोषित कर दिया. इसका न्यायालय में विरोध किया था.
अधिवक्ता ने बताया कि पुलिस ने 6 मार्च 2020 तक रजयकांत बाजपेयी को कई कार्यों के लिए पुरस्कृत किया है. इसके दर्जन भर प्रमाण पत्र उनके पास हैं. इसके बाद अचानक उसे 25 हजार रुपये का इनामी अपराधी घोषित कर गैंगस्टर बना दिया. न्यायालय में इन तथ्यों को रखा जायेगा.
Posted by : Thakur Shaktilochan Shandilya