पटना : बिहार सरकार ने प्राथमिक से लेकर उच्च माध्यमिक विद्यालय में नियोजित शिक्षक-पुस्तकालयाध्यक्ष के वेतन में 20 फीसदी से अधिक की वृद्धि के आदेश जारी कर दिये हैं. सरकार इपीएफ में भी अंशदान देगी. यह बढ़ा हुआ वेतन एक अप्रैल, 2021 से मिलने लगेगा. हालांकि, इपीएफ का लाभ इसी सितंबर से मिलने लगेगा. तीन लाख 57 हजार शिक्षकों को इसका लाभ मिलेगा. कैबिनेट इसे पहले ही मंजूरी दे चुकी थी. अब विभाग ने इसका संकल्प जारी कर दिया है.
सरकार ने पंचायती राज संस्थानों एवं नगर निकाय संस्थानों अन्तर्गत कार्यरत शिक्षकों एवं पुस्तकालय अध्यक्षों के वर्तमान वेतन संरचना में सुधार करते हुए एक अप्रैल, 2021 को देय वेतन में 15 प्रतिशत की वृद्धि करने का निर्णय किया है. बढ़े हुए दर पर वेतन के निर्धारण के लिए वित्त विभाग के परामर्श किया जायेगा.
साथ ही उन्हें सामाजिक सुरक्षा के लिए कर्मचारी भविष्य निधि (इपीएफ) का भी लाभ भी दिया जायेगा. 15000 रुपये प्रति माह के वेतन की राशि पर राज्य सरकार अपना अंशदान 13 (12+1) प्रतिशत देगी. इसे एक सितंबर 20 से प्रभावी किया जायेगा. इस प्रकार कार्यरत शिक्षक, पुस्तकालयाध्यक्ष के वेतन में ईपीएफ स्कीम के साथ 20 फीसदी से अधिक की वृद्धि होगी.
गौरतलब है कि नियोजित शिक्षकों ने समान काम के बदले समान वेतन की मांग को लेकर लंबे समय तक आंदोलन किया था. देश की सर्वोच्च अदालत तक मामला गया था. बीते दिनों सरकार ने 5200-20200 वेतनमान के साथ प्रशिक्षित प्राथमिक शिक्षकों को 2000 रुपये का ग्रेड-पे देने की घोषणा की थी.
वहीं, प्रशिक्षित प्राथमिक शिक्षक (स्नातक ग्रेड), प्रशिक्षित माध्यमिक और लाइब्रेरियन को 2400 रुपये और उच्च माध्यमिक शिक्षकों को 2800 रुपये का ग्रेड-पे आदि देने की घोषणा की थी. कैबिनेट की मंजूरी में वेतन निर्धारित कर शिक्षकों की बहाली, उनकी सेवा शर्त आदि को लेकर अपनी मुहर लगा दी थी.