13.1 C
Ranchi

BREAKING NEWS

Advertisement

रांची के तीन में से दो कोविड अस्पताल में बेड फुल, हालत गंभीर न हो तो अब होम कोरेंटिन में ही इलाज

राजधानी के तीन कोविड-19 अस्पतालों में से दो में बेड फुल हो गये हैं. रिम्स कोविड और सीसीएल कोविड अस्पताल में बेड फुल हो गये हैं, जबकि 50 बेड के पारस कोविड अस्पताल में बेड खाली है

रांची : राजधानी के तीन कोविड-19 अस्पतालों में से दो में बेड फुल हो गये हैं. रिम्स कोविड और सीसीएल कोविड अस्पताल में बेड फुल हो गये हैं, जबकि 50 बेड के पारस कोविड अस्पताल में बेड खाली है. रविवार को ऑटो से रिम्स पहुंचे तीन संक्रमितों को लौटा दिया गया. डॉक्टरों का कहना था कि बेड की उपलब्धता के हिसाब से जिला प्रशासन 108 एंबुलेंस के जरिये संक्रमितों को यहां शिफ्ट कराता है. फिलहाल, बेड खाली नहीं हैं, इसलिए आप अपने घर में ही आइसोलेट रहें. हालांकि, उन्हें पारस अस्पताल भेजा जा सकता था.

सूत्रों ने बताया कि रिम्स कोविड अस्पताल में बेड खत्म होने के कारण दो सामान्य काेरोना संक्रमितों को आइसीयू में भर्ती करना पड़ा. इधर, सीसीएल के 50 बेड वाले कोविड अस्पताल में भी बेड फुल हो गये हैं. फिलहाल यहां 55 संक्रमित भर्ती हैं. पांच कोरोना संक्रमित को कमरों में शिफ्ट किया गया है. इस स्थिति से निबटने के लिए रांची जिला प्रशासन ने कोरोना संक्रमितों के लिए होम कोरेंटिन का विकल्प उपलब्ध करा दिया है. जो लोग गंभीर रूप से बीमार नहीं होंगे, उन्हें घर पर ही आइसोलेट कर इलाज किया जायेगा. बेहद गंभीर स्थिति होने पर ही उन्हें कोविड अस्पतालों में भर्ती किया जायेगा.

राजधानी के कुछ संक्रमितों को होम कोरेंटिन किया भी गया है. कोरोना संक्रमितों को स्वेच्छा से अस्पताल की जगह घर पर ही आइसोलेशन रूम तैयार कर रहने को कहा गया है. सिविल सर्जन डॉ वीबी प्रसाद ने बताया कि उपायुक्त से इस संबंध में निर्देश मिला है. इधर, रिम्स कोविड अस्पताल के डॉक्टर ने बताया कि होम कोरेंटिन की गाइडलाइन जारी की गयी है. पॉजिटिव के होम कोरेंटिन करने पर एक डॉक्टर को नियुक्त करने का भी प्रावधान है, ताकि संक्रमित पर निगरानी रखी जा सके.बिना लक्षणवाले संक्रमितों को ही हाेम आइसोलेशन की सुविधाबिना लक्षण वाले संक्रमितों को ही होम आइसोलेशन की सुविधा प्रदान की जायेगी. सिविल सर्जन डॉ वीबी प्रसाद ने बताया कि जिनके घर में अलग कमरे की व्यवस्था होगी.

संक्रमित के कमरा व बाथरूम की एक जगह होनी चाहिए, जिससे संक्रमित घर के अन्य सदस्यों के संपर्क में नहीं आयें. इसके अलावा घर में सीसीटीवी लगा होना चाहिए, जिससे समय-समय पर उसकी जांच हो पाये. होम आइसोलेशन वाले व्यक्ति को यह शपथ पत्र देना होगा कि स्वस्थ होने तक वह घर से बाहर नहीं जायेंगे. अगर वह बाहर निकलते हैं, तो उनपर कार्रवाई की जायेगी. वहीं, स्वास्थ्य विभाग की ओर से संक्रमित व्यक्ति की देखरेख के लिए एक नर्स उपलब्ध करायी जायेगी. नर्स उनके ऑक्सीजन लेवल व परामर्श किये गये दवाओं का पालन करायेगी.

किसी प्रकार की दिक्कत होने पर नर्स स्वास्थ्य विभाग को अवगत करायेगी, ताकि संक्रमित को समय रहते अस्पताल में शिफ्ट किया जा सके. स्वास्थ्य की जांच के लिए डॉक्टर भी समय-समय पर भ्रमण करेंगे. उनके घर की निगरानी का जिम्मा जिला प्रशासन का होगा.

Post by : Pritish Sahay

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

Advertisement

अन्य खबरें

ऐप पर पढें