पटना : राजधानी पटना में जल जमाव की स्थिति की समीक्षा के लिए पुराना सचिवालय के सभागार में आयोजित बैठक की अध्यक्षता करते हुए बिहार के उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने कहा कि पटना के सभी 9 बड़े नालों की सफाई के साथ ही निगम क्षेत्र के 14 लाख 49 हजार फीट लंबे खुले नालें, 44,144 मेन हाॅल व 36,050 कैच पीट आदि की उड़ाही का ही नतीजा रहा कि जून के आखिरी सप्ताह में हुई भारी बारिश के बावजूद अधिकांश इलाकों से अधिकतम 6 से 8 घंटे में पानी की निकासी संभव हो पायी है. बैठक में पथ निर्माण मंत्री नंद किशोर यादव व नगर विकास मंत्री सुरेश शर्मा व पटना के सभी स्थानीय विघायक भी उपस्थित थे.
सुशील मोदी ने कहा कि पिछले सप्ताह हुई अप्रत्याशित वर्षा एक तरह से तैयारियों की परीक्षा के साथ चेतावनी भी रही. अधिकारियों को निर्देश दिया गया कि जहां-जहां जल जमाव हुआ हैं, उन स्थलों को चिन्हित कर आगे समाधान का प्रयास किया जाएं. पटना नगर निगम मुख्यालय में 24 घंटे कंट्रोल रूम संचालित करने व सभी कर्मियों व अधिकारियों के मोबाइल नंबर अखबारों में विज्ञापन देकर प्रकाशित करने का भी निर्देश दिया गया.
अधिकारियों ने बताया कि जल जमाव न हो इसके लिए 33 स्थानों पर 34,230 फीट नये कच्चे नाले का निर्माण कराया गया है. 143 स्थानों को चिन्हित कर विभिन्न क्षमता वाले पम्प को अधिष्ठापित करने हेतु कर्मियों की तैनाती की गयी है. 39 ड्रैनेज पम्प स्टेशनों की मरम्मति, संचालन व संधारण 3 वर्षों के लिए निविदा के माध्यम से करायी गयी है. 21 स्थानों पर स्थायी सम्प हाउस का सिविल कार्य पूरा कर लिया गया है तथा अगले एक सप्ताह में पम्प अधिष्ठापन का कार्य भी पूरा कर लिया जाएगा.
इसके साथ ही सभी पम्पिंग स्टेशनों पर डेडिकेटेड फीडर से विद्युत की आपूर्ति, सीसीटीव कैमरा व केंद्रीकृत माॅनिटरिंग की व्यवस्था की गयी है. किसी भी आकस्मिक स्थिति से निपटने के लिए 3-3 लोगों का 18 त्वरित धावा दल गठित तथा मृत जानवरों के ससमय निष्पादन के लिए प्रत्येक अंचल में वाहन व कर्मियों की व्यवस्था की गयी है. प्रत्येक शनिवार को स्थानीय विधायकों के साथ नगर निगम, बुडको व नगर विकास के अधिकारियों की बैठक होगी जिसमें जल जमाव की मौजूदा स्थिति की समीक्षा की जाएगी.
Posted By Samir Kumar