भुरकुंडा : शराब की दुकान नियमित खुलने के बावजूद इनकी बिक्री कम हो गयी है. इससे शराब व्यवसायी चिंतित हैं. सरकार ने लाइसेंसी शराब दुकानों को 20 मई से खोलने का आदेश दिया था. इसके बाद पतरातू प्रखंड में स्थित दर्जनों दुकानें खुल गयी. व्यवसायियों को उम्मीद थी कि बिक्री जोरों से होगी, लेकिन ऐसा कुछ नहीं हुआ. इक्का-दुक्का लोग ही दुकान पर पहुंचते हैं.
दुकान खुलने के आदेश के बाद व्यवसायियों ने अपनी दुकानों में शराब के विभिन्न ब्रांड का स्टॉक कर लिया था. ग्राहकों में रुचि नहीं रहने के कारण यह माल भी फंस गया है. व्यवसायियों ने बताया कि हर साल मई व जून महीने में शराब की रिकॉर्ड बिक्री होती थी. पिछले साल भी अधिक बिक्री हुई थी. इस वर्ष दुकान खुलने के आदेश मिलने के बाद पर्याप्त स्टॉक मंगा कर रखा गया था, लेकिन कोई लाभ नहीं हुआ. शराब की बिक्री सबसे अधिक होती थी. इस वर्ष इसकी बिक्री भी नाम मात्र है.
बिक्री में 55 प्रतिशत तक की गिरावट : पतरातू प्रखंड के शराब व्यासायियों का कहना है कि लॉकडाउन में दुकान खोलने से उनकी परेशानी काफी बढ़ गयी है. सेल में 55 प्रतिशत तक की कमी आयी है. स्थिति ऐसी है कि सरकार द्वारा तय किये गये एक माह के कोटे की बिक्री में छह माह लग जायेंगे. इसके बाद भी शराब बिकेगी, इसकी गारंटी नहीं है. हालात को देखते हुए दुकानों का संचालन करना कठिन हो गया है. दुकान सरेंडर करने की नौबत आ गयी है.