कोरोना संकट और लॉकडाउन ने मुश्किलों और बेबसी के ऐसे-ऐसे दृश्य दिखाये कि लोगों का दिल दहल जाये. कभी कंधे पर भारी बोझ टांगे हजारों किलोमीटर पैदल चलते मजदूर तो कहीं घर पहुंचने की आस में रेल की पटरियों पर दम तोड़ते कामगार. इन घटनाओं ने लोगों को अंदर तक झकझोर दिया.
ऐसी ही एक घटना मध्य प्रदेश की है. दरसअल महाराष्ट्र के नासिक से मध्य प्रदेश के सतना आ रही एक गर्भवती महिला शंकुतला ने रास्ते में ही बच्चे को जन्म दे दिया. इनके पास ना तो कोई डॉक्टर था और ना ही कोई औऱ सुविधा. था तो बस दर्द, बेससी, आग उगलता आसमान और तपती धरती.