नयी दिल्ली : दिल्ली के एक अस्पताल में रविवार को कोविड-19 (COVID-19) से संक्रमित डेढ़ माह के बच्चे की मौत हो गई. अधिकारियों के अनुसार राष्ट्रीय राजधानी में इस संक्रमण (Coronavirus Pandemic) से नवजात की मौत का यह पहला मामला हो सकता है.
न्यूज एजेंसी भाषा-पीटीआई से प्राप्त खबर के अनुसार नवजात की मौत लेडी हार्डिंग अस्पताल से संबद्ध कलावती सरन बाल चिकित्सालय में हुई. अस्पताल के एक डॉक्टर ने नाम न छापने की शर्त पर बताया, बच्चे को कुछ दिन पहले अस्पताल लाया गया था.
उसमें कोविड-19 संक्रमण की पुष्टि हुई. बच्चे को एसएआरआई (गंभीर श्वसन रोग) वार्ड में भर्ती कराया गया और कल उसकी मौत हो गई. उन्होंने बताया कि बच्चे के संपर्क में आने वाले लोगों की पहचान की जा रही है. दिल्ली सरकार के मुताबिक राष्ट्रीय राजधानी में संक्रमित मरीजों की संख्या 18,93 हो गई है.
स्वास्थ्य विभाग द्वारा साझा की गई जानकारी के मुताबिक दिल्ली में कोविड-19 से मरने वाल 43 लोगों में से 24 की उम्र 60 वर्ष से अधिक थी. नौ लोग 50-60 वर्ष के थे और 10 लोग 50 वर्ष से कम उम्र के थे.
दूसरी तरफ दिल्ली सरकार ने तय किया है कि वह जारी लॉकडाउन में राहत नहीं देगी क्योंकि फिलहाल राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना वायरस संक्रमण का फैलना थमा नहीं है. मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने रविवार को यह जानकारी दी. वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग को संबोधित करते हुए केजरीवाल ने कहा कि सरकार एक हफ्ते बाद फिर स्थिति का आकलन करेगी. उन्होंने कहा कि वायरस फैलना शुरू होने के बाद नियंत्रण क्षेत्रों को बढ़ा दिया गया है लेकिन आश्वस्त किया कि स्थिति काबू में है.
उन्होंने कहा, ऐसे मामले सामने आए हैं जहां उन लोगों में कोविड-19 की पुष्टि हुई है जिनमें लक्षण नजर नहीं आ रहे थे. मुख्यमंत्री ने तबलीगी जमात मरकज कार्यक्रम को वायरस के प्रसार का कारण बताया और कहा कि दिल्ली में देश भर से सामने आए कुल मामलों के 12 प्रतिशत मामले हैं.
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केजरीवाल ने कहा कि अब तक शहर में कोरोना वायरस के 1,893 मामले सामने आए हैं. वहीं नयी दिल्ली नगरपालिका परिषद (एनडीएमसी) ने कहा है कि जो लोग सार्वजनिक स्थानों पर थूकते या पेशाब करते नजर आएंगे उन्हें 1,000 रुपये का जुर्माना देना होगा.
कोरोना वायरस के प्रकोप को फैलने से रोकने के मकसद से यह कदम उठाया गया है. यह आदेश गृह मंत्रालय की ओर से तीन दिन पहले जारी निर्देश के अनुपालन में आया है जिसके तहत सार्वजनिक स्थानों पर थूकने को दंडनीय अपराध बनाया गया है.