21 दिनों के लॉकडाउन की वजह से कई प्रवासी मजदूरों के सामने रोजी रोटी का संकट खड़ा हो गया है, इस हलात में लोगों को कोई रास्ता नहीं दिखाई पड़ा तो लोग पैदल ही अपने घर की ओर चल दिए हैं, हालांकि कई राज्य सरकारों द्वारा लोगों के लिए मदद की मुहैया कराई जा रही है.
लेकिन कई लोगों को अब भी इसका लाभ नहीं मिल पा रहा है जिस वजह से भारत की राजनीति में अब आरोप प्रत्यारोप दौर शुरू हो गया है. पूर्वी दिल्ली से सांसद गौतम गंभीर ने मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल पर हमला करते हुए ट्वीट किया दिल्ली की जनता ने अरविंद केजरीवाल को औरों पे आरोप लगाने के लिए चुना है क्या ? इस स्थिति में भी सारी जवाबदेही PM और बाकी राज्यों के CM पे डाल दी! 500 करोड़ के advertisement budget में 2 लाख लोगों का खाना आ जाएगा. अगर दिल्ली ही नहीं रहेगी तो कहाँ बेचोगे अपने झूठ को?
दिल्ली की जनता ने @ArvindKejriwal को औरों पे आरोप लगाने के लिए चुना है क्या ?
— Gautam Gambhir (@GautamGambhir) March 29, 2020
इस स्थिति में भी सारी जवाबदेही PM और बाकी राज्यों के CM पे डाल दी !
500 करोड़ के advertisement budget में 2 लाख लोगों का खाना आ जायेगा
अगर दिल्ली ही नहीं रहेगी तो कहाँ बेचोगे अपने झूठ को?
शर्मनाक! pic.twitter.com/eNv2LbjTeb
इससे पहले दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने यूपी सरकार पर हमला बोलते हुए कहा था कि मुझे बहुत दुःख है कि कोरोना महामारी के बीच बीजेपी नेता टुच्ची राजनीति पर उतर आए हैं. योगी आदित्यनाथ जी की सरकार ने आरोप लगाया है कि अरविंद केजरीवाल ने बिजली पानी काट दिया इसलिए लोग दिल्ली से जा रहे हैं. यह गम्भीरता से एक होकर देश को, बचाने का समय है, घटिया राजनीति का नहीं.’ मनीष सिसोदिया ने ये ट्वीट कल किया था जिसके बाद ही गौतम गंभीर ने आज अरविन्द केजरीवाल पर हमला बोला है.
इससे पहले आम आदमी पार्टी के विधायक राघव चड्डा ने भी योगी सरकार पर हमला बोला था कि यूपी सरकार दिल्ली से पलायान करके जाने वालों को पिटवा रही है. उसके बाद आज नोएडा के सेक्टर 20 थाना में उन पर मामला दर्ज कर लिया गया है. ये मुकदमा उन पर गलत अफवाह फैलाने और मुख्यमंत्री पर आपत्ति जनक टिप्पणी करने के आरोप में लगा है.
गौरतलब है कि दिहाड़ी मजदूर इस लॉक डाउन की वजह से बड़ी संख्या में पैदल घर की ओर निकल दिए. कल ही दिल्ली के आनंद विहार रेलवे स्टेशन पर घर जाने वालों की भीड़ लग गयी थी. जबकि दूसरी तरफ यूपी सरकार भी अपने राज्य के मजदूरों के लिए बस की व्यवस्था कर दी. जिसके बाद दूसरे राज्य में काम करने वाले मजदूर अपने घर जा सके.
आपको बता दें कि योगी सरकार ने इस महामारी में दिहाड़ी मजदूरों की पीड़ा कम करने के लिए 1000 रुपये प्रति माह देने की घोषणा की है ताकि उनके सामने रोजी रोटी का संकट न खड़ा हो जाए.