जिनेवा : कोरोनोवायरस फ्लू की तुलना में ज्यादा खतरनाक है लेकिन इसपर कंट्रोल किया जा सकता है. यह बात विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) की ओर से कही गयी है. डब्ल्यूएचओ की ओर से बताया गया कि करीब COVID-19 से पीडित 3.4 प्रतिशत लोग अपनी जान गंवा बैठे हैं जबकि फ्लू से जान गंवाने वालों की संख्या 1 प्रतिशत है. डब्ल्यूएचओ प्रमुख तेद्रोस अदहानोम घेब्रेयेसस ने बताया कि COVID-19 फ्लू की तुलना कम तेजी से फैलने वाला वायरस है हालांकि यह फ्लू की तुलना में अधिक गंभीर बीमारी पैदा करने वाला कारक है. इससे बचने के लिए अभी तक किसी भी प्रकार का टीका इजाद नहीं किया जा सका है लेकिन सावधानी बरत के इससे दूर रहा जा सकता है.
डब्ल्यूएचओ ने आगाह किया कि कोरोना वायरस ने निपटने में लगे स्वास्थ्यकर्मियों के पास मास्क और गॉगल्स जैसी सुरक्षात्मक वस्तुओं की घोर कमी हो रही है. साथ ही डब्ल्यूएचओ ने इनकी जमाखोरी और दुरुपयोग की चेतावनी भी दी है. आगे घेब्रेयेसस ने कहा कि बढ़ती मांग के कारण व्यक्तिगत रक्षात्मक वस्तुओं की आपूर्ति वैश्विक स्तर पर बाधित होने और इससे निपटने में देशों की क्षमताओं के कम होने से हम चिंतित हैं. सर्जिकल मास्क के दामों में छह गुना बढ़ोतरी दर्ज की गयी तो जीवन रक्षक प्रणाली के दाम तीन गुना हो गये हैं.
तेद्रोस ने कहा कि संगठन ने 27 देशों में पांच लाख से ज्यादा व्यक्तिगत सुरक्षात्मक सामग्री भेजी है, लेकिन साथ ही चेतावनी दी कि इनकी आपूर्ति तेजी से घट रही है. डब्ल्यूएचओ ने कहा कि चीन में दर्ज कोरोना वायरस के केवल एक प्रतिशत मामले ऐसे हैं जिनमें कोई लक्षण नहीं पाये गये जबकि अधिकतर मामले ऐसे हैं जिनमें दो दिन बाद लक्षण दिखाई दिये.