नयी दिल्ली : भारत ने सोमवार को बांग्लादेश को आश्वस्त किया कि असम में राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) को अद्यतन करने का बांग्लादेश के लिए कोई प्रभाव नहीं होगा.भारत ने इस बात पर जोर दिया कि यह ‘पूरी तरह से आंतरिक’ प्रक्रिया है जो उच्चतम न्यायालय के निर्देश और उसकी देखरेख में की जा रही है.
बांग्लादेश के विदेश मंत्री ए के अब्दुल मोमिन और गृहमंत्री असदुज्जमां खान ने भारत के संसद द्वारा नया नागरिकता विधेयक पारित किये जाने के बाद की स्थिति को देखते हुए दिसंबर में भारत के अपने दौरे रद्द कर दिये थे.ढाका असम में एनआरसी लागू किए जाने के बाद से परोक्ष तौर पर चिंतित था
विदेश सचिव हर्षवर्धन श्रृंगला ने कहा, ‘कि असम में एनआरसी को अद्यतन करने की प्रक्रिया पूरी तरह से भारत के उच्चतम न्यायालय के निर्देश पर और उसकी निगरानी में हुई.’ इसलिए इसका बांग्लादेश सरकार और लोगों पर कोई प्रभाव नहीं होगा.
ढाका उन खबरों पर चिंतित था कि सीएए के तहत भारत कुछ बांग्लादेशी शरणार्थियों को वापस भेज सकता है.बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने सितंबर में न्यूयॉर्क में द्विपक्षीय बैठक के दौरान एनआरसी का मुद्दा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के समक्ष उठाया था.