मुंबई: मुंबई कांग्रेस प्रमुख मिलिंद देवड़ा ने पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए रविवार को सचिन पायलट और ज्योतिरादित्य सिंधिया के नाम का प्रस्ताव दिया.
देवड़ा ने कहा कि वह पंजाब के मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह की इस बात से सहमति रखते हैं कि कांग्रेस का नया अध्यक्ष युवा, सक्षम और चुनावी, प्रशासनिक तथा सांगठनिक क्षमताओं से लैस होना चाहिए और उसकी पूरे देश में अपील होनी चाहिए. उन्होंने कहा, मेरे विचार से सचिन पायलट और ज्योतिरादित्य सिंधिया में ये सभी क्षमताएं हैं और वे संगठन को ताकत दे सकते हैं और विपक्ष में जोश भर सकते हैं. देवड़ा ने कहा, मैं स्पष्ट रूप से खुद को दरकिनार कर रहा हूं, क्योंकि मैं अपनी क्षमताओं को जानता हूं और मैं पार्टी के हित में किसी के साथ भी काम करने को तैयार हूं. उन्होंने कहा कि पायलट या सिंधिया को कम से कम अंतरिम अध्यक्ष बनाना चाहिए और गांधी परिवार को उनका सार्वजनिक रूप से समर्थन करना चाहिए.
उनसे पूछा गया कि अगर पार्टी उन दोनों के अलावा किसी और का चयन अध्यक्ष पद पर कर ले तो इस पर देवड़ा ने कहा, अगर पार्टी सामूहिक रूप से किसी का चुनाव करती है तो मैं उसकी समझ का सम्मान करूंगा, लेकिन अगर पार्टी या जनता मेरे आकलन से असहमत है तो मुझे आश्चर्य होगा. नये अध्यक्ष को तय करने पर पार्टी में अस्पष्टता के सवाल पर पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि कांग्रेस को उसे वोट देने वाले 13 करोड़ मतदाताओं के विश्वास का सम्मान करना चाहिए और निर्णायक कदम उठाने चाहिए. उन्होंने कहा, यह उचित वक्त है कि हमें पार्टी के तौर पर हमारे नेतृत्व से सामूहिक रूप से अपील करनी चाहिए. मेरे विचार से, हमें काडर में जोश भरना चाहिए और फिर से मतदाताओं को आकर्षित करना चाहिए.
देवड़ा ने कहा कि कांग्रेस का नया अध्यक्ष चुनने में हो रही दे रही से पार्टी को नुकसान पहुंच रहा है. उन्होंने कहा, भारत की सबसे बड़ी विपक्षी पार्टी पर दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र को मजबूत करने की बड़ी जिम्मेदारी है. महाराष्ट्र समेत कुछ राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावों पर देवड़ा ने कहा, हमें अक्तूबर में चुनाव लड़ना है और अध्यक्ष का चुनाव करने में और देरी करने से हमारी संभावनाओं पर विपरीत असर पड़ सकता है. राहुल गांधी के पार्टी का अध्यक्ष पद छोड़ने को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए देवड़ा ने कहा कि कांग्रेस नेता ने पार्टी के लिए सर्वश्रेष्ठ किया है. उनसे पूछा गया कि क्या कांग्रेस गांधी परिवार से बाहर के व्यक्ति को पार्टी प्रमुख के तौर पर स्वीकार करेगी? इस पर लोकसभा के पूर्व सदस्य ने कहा कि पार्टी में नेहरू-गांधी परिवार के योगदान का कोई मुकाबला नहीं है. उन्होंने कहा, हम इतिहास के ऐसे महत्वपूर्ण मोड़ पर खड़े हैं कि हमें पारंपरिक राजनीतिक मार्गों से हटना होगा. यह उनका (नेहरू-गांधी परिवार का) नेतृत्व की दौड़ से बाहर रहने का निर्णय है जिसका हमें सम्मान करना चाहिए.
प्रियंका गांधी को पार्टी प्रमुख बनाने की मांग पर देवड़ा ने कहा, वह बहुत प्रतिभावान हैं. कांग्रेस अध्यक्ष पद के मामले में शामिल नहीं होना परिवार का निर्णय है. हमें इसका सम्मान करना चाहिए और आगे बढ़ना चाहिए. मुंबई कांग्रेस प्रमुख पद से अपने इस्तीफे पर देवड़ा ने कहा कि उन्होंने 26 जून को पद छोड़ दिया था और राहुल गांधी से मुलाकात की थी. उन्होंने कहा, मुझे दुख हुआ कि किसी ने भी इस्तीफे की पेशकश नहीं की. मुझे आश्चर्य हुआ कि पार्टी ने मेरा इस्तीफा खारिज कर दिया. मैं अब भी आग्रह कर रहा हूं कि इसे स्वीकार कर लें क्योंकि मुंबई कांग्रेस के पास कार्यकारी अध्यक्ष है.