पटना : पटना जिले के पंडारक प्रखंड से जुड़े पकडुआ विवाह के चर्चित मामले में पटना की फैमिली कोर्ट ने विवाह को अवैध करार दिया है. कोर्ट ने इस मामले की सुनवाई करते हुए पकडुआ विवाह को अमान्य बताते हुए फैसला सुरक्षित रख लिया है.
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फैमिली कोर्ट ने पकड़ुआ विवाह को करार दिया अवैध
पटना : पटना जिले के पंडारक प्रखंड से जुड़े पकडुआ विवाह के चर्चित मामले में पटना की फैमिली कोर्ट ने विवाह को अवैध करार दिया है. कोर्ट ने इस मामले की सुनवाई करते हुए पकडुआ विवाह को अमान्य बताते हुए फैसला सुरक्षित रख लिया है. दरअसल बोकारो के स्टील प्लांट में सहायक प्रबंधक के पद […]
दरअसल बोकारो के स्टील प्लांट में सहायक प्रबंधक के पद पर तैनात विनोद कुमार का 3 दिसंबर, 2017 में पंडारक में पकडुआ विवाह किया गया था. पटना जिले के खुसरुपुर के रहने वाले विनोद की शादी कुंदन कुमारी से की गयी थी. इस दौरान विनोद के साथ बुरा सलूक किया गया. हथियार के बल पर उनकी शादी कर दी गयी. इसके बाद विनोद कुमार ने इस मामले को फैमिली कोर्ट में चुनौती दी. सुनवाई के दौरान कोर्ट ने इस पकड़ुआ विवाह को अमान्य माना.
सबसे बड़ी बात यह है कि पटना में कोर्ट द्वारा इस तरह का पहला फैसला माना जा रहा है. यहां बता दें कि पूर्व में सूबे के नवादा, लखीसराय समेत अन्य जिलों में कुल 1,097 केस इस तरह के हैं, जिसमें पकडुआ विवाह कराया गया.
क्रिमिनल केसों की सिविल कोर्ट में चल रही है सुनवाई
पकडुआ विवाह के लिए विनोद कुमार का अपहरण किया गया था. इसके बाद कुंदन कुमारी के घरवालों ने जबरिया हथियार के बल पर उसकी शादी कर दी थी. इसके बाद विनोद कुमार ने फैमिली कोर्ट में फैसले को चुनौती दी और सात जनवरी, 2018 को पंडारक थाने में क्रिमिनल केस भी दर्ज कराया.
इसमें लड़की के घरवाले, रिश्तेदारों पर आरोप है. इस मामले में पुलिस ने गांव के चौकीदार का बयान भी लिया है. अन्य लोगों की गवाही, फुटेज, वीडियो क्लिप को सबूत के तौर पर पेश किया गया है. हालांकि क्रिमिनल केस में अभी फैसला नहीं आया है.
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