Aligarh News: अलीगढ़ में धान और गेहूं के अलावा आलू भी मुख्य फसल है. यह पहली बार होगा कि अलीगढ़ के आलू का निर्यात होगा और किसानों को कई गुना लाभ होगा. इस बार अलीगढ़ के आलू को मंडियों तक सीमित नहीं रहना पड़ेगा. अलीगढ़ के आलू का निर्यात किया जाएगा. इसके लिए डायरेक्टर जनरल ऑफ फॉरेन ट्रेड व एग्रीकल्चर एंड फूड प्रोसीड फूड प्रोडक्ट्स एक्सपोर्ट डेवलपमेंट अथॉरिटी से लाइसेंस लेना होता है. कृषि उत्पादक संगठन ने दोनों से लाइसेंस की प्रक्रिया लगभग पूरी हो गई है. जल्दी ही लाइसेंस मिलते ही अलीगढ़ के आलू का बाहर निर्यात किया जाएगा.
अतरौली तहसील के रजातऊ गांव के किसान ऋषिपाल सिंह ने प्रभात खबर को बताया कि आलू का निर्यात होना, हर किसान के लिए अच्छा है, अब किसान को आलू का दाम बढ़िया मिलेगा. अब तक तो आलू केवल 8-10 रूपए किलो में ही जाता था. निर्यात होने पर कम से कम 20-30 रुपये प्रति किलो तो जाएगा. कोल तहसील के नगौला गांव के किसान यादराम शर्मा ने कहा कि मंडी में किसान को आलू का अच्छा दाम नहीं मिल पाता था. अब निर्यात के बाद कंपनियां आलू के कई गुना दाम देंगी तो किसान के हालात सुधरेंगे. ऐसा होने पर ही आलू भी सब्जियों का राजा कहलाएगा.
बाजार में आलू 20-25 रुपए प्रति किलो मिल रहा है जबकि किसान को अपने आलू का दाम 8-10 रूपए ही मिल पाता है. अब आलू का निर्यात होने पर किसान को आलू की कीमत उचित मिलेगी. अलीगढ़ के आलू को अच्छी कंपनियां खरीदेंगी, तो किसान को आलू का अच्छा भाव मिलेगा. अलीगढ़ में इस बार 30150 हेक्टेयर में आलू हुआ है जबकि पिछली बार 27500 हेक्टेयर में हुआ था. इस तरह से 2650 हेक्टेयर आलू का क्षेत्र बढ़ा है. किसानों ने आलू कोल्ड स्टोरेज में रख दिया है, लगभग 70 प्रतिशत कोल्ड स्टोरेज फुल हो चुके हैं. वस्तुओं एवं सेवाओं को किसी देश से दूसरे देशों में भेजना निर्यात कहलाता है. इसी तरीके से आलू को भी जनपद से बाहर निर्यात किया जाएगा.
रिपोर्ट : चमन शर्मा